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    नई दिल्ली. दोपहर की बड़ी खबर के अनुसार, जल्द ही PFI पर प्रतिबंध लगाने की तैयारी है। मिल रही जानकारी के अनुसार इसी हफ्ते प्रतिबंध लग सकता है। दरअसल सुरक्षा एजेसिंयों की सलाह पर यह प्रतिबंध लगाया जा सकता है।  बता दें कि, PFI पर आतंकी वारदातों में शामिल होने के आरोप हैं। 

    गौरतलब है कि, पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) के खिलाफ एक हफ्ते में दूसरा बड़ा एक्शन लिया गया है। फिलहाल कई राज्यों में छापेमारी जारी है। अब तक 30 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है और 170 से ज्यादा लोगों को हिरासत में लिया गया है। ये आंकड़े बढ़ भी सकते हैं। 

    कई राज्यों से हो रही गिरफ्तारी 

    कर्नाटक के दक्षिण कन्नड़ और उडुपी जिले के शहरी व ग्रामीण इलाकों में पुलिस ने मंगलवार तड़के पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के कई नेताओं को हिरासत में लिया।  पीएफआई के नेताओं को दक्षिण कन्नड़ जिले के मंगलुरु, उल्लाल, तलपडी और अन्य क्षेत्रों से हिरासत में लिया गया। उनके खिलाफ दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 107 और 151 के तहत मामला दर्ज किया गया है। 

    वहीं मध्य प्रदेश पुलिस ने पीएफआई से जुड़े होने के आरोप में प्रदेश के आठ जिलों से 21 लोगों को हिरासत में लिया है। साथ ही गुजरात में आतंकवाद रोधी दस्ते (एटीएस) और राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) की संयुक्त टीम ने छापेमारी कर पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) से कथित संबंधों को लेकर पूछताछ के लिए कम से कम 10 लोगों को हिरासत में ले लिया।

    वहीं राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में निजामुद्दीन और शाहीन बाग सहित कई स्थानों पर ‘पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया’ (पीएफआई) से संबद्ध ठिकानों पर छापेमारी के बाद मंगलवार को 30 लोगों को हिरासत में लिया गया।

    PFI की स्थापना

    बता दें कि, इससे पहले, देश में आतकंवादी गतिविधियों को समर्थन देने के आरोप में 22 सितंबर को राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) के नेतृत्व में विभिन्न एजेंसियों के अभियान के तहत इसी तरह छापेमारी की गई थी। उस दौरान 15 राज्यों में पीएफआई के 106 कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया गया था। पीएफआई की स्थापना 2006 में केरल में की गई थी और वह भारत में हाशिये पर पड़े वर्गों के सशक्तिकरण के लिए नव सामाजिक आंदोलन चलाने का दावा करता है।