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Published: Jul 30, 2021 02:51 PM IST

Cloud Burstकिश्तवाड़ : बारिश के कारण रुका बचाव अभियान फिर हुआ शुरू

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम
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जम्मू. जम्मू कश्मीर (Jammu Kashmir) में किश्तवाड़ (Kishtwar) जिले के एक गांव में बादल फटने (Cloud Burst) के बाद लापता 20 हुए लोगों का पता लगाने के लिए बचाव अभियान शुक्रवार को फिर से शुरू हो गया। इससे पहले खराब मौसम के कारण अभियान को कुछ घंटों के लिए रोकना पड़ा था। दचन तहसील के सुदूर होंजर गांव में बुधवार को तड़के बादल फटने की घटना में सात लोगों की मौत हो गई और 17 अन्य व्यक्ति जख्मी हो गए।

इस घटना में 21 मकान, एक राशन भंडार, एक पुल, एक मस्जिद और गायों के लिए बने 21 शेड भी क्षतिग्रस्त हो गए। अधिकारियों ने बताया कि बृहस्पतिवार देर रात को भारी बारिश के कारण बचाव अभियान बाधित हो गया और मौसम में थोड़े सुधार के बाद दोपहर को फिर से अभियान शुरू किया गया। खोज एवं बचाव अभियान ने बृहस्पतिवार को तब गति पकड़ी जब भारतीय वायु सेना ने जम्मू, श्रीनगर और उधमपुर से तीन हेलीकॉप्टरों को काम में लगाया।

उन्होंने आठ फेरे लगाए, 2250 किलोग्राम की राहत सामग्री लेकर आए। इसके साथ ही गंभीर रूप से घायल दो लोगों को इलाज के लिए सुंदर से किश्तवाड़ ले जाने के अलावा एनडीआरएफ और एसडीआरएफ के 44 कर्मियों को लेकर आए। आपदा प्रबंधन के एक अधिकारी ने बताया कि खराब मौसम के कारण शुक्रवार को सुबह छह बजे से कोई भी हेलीकॉप्टर किश्तवाड़ से सुंदर के लिए उड़ान नहीं भर सका।

उन्होंने बताया कि वायु सेना ने बृहस्पतिवार से किश्तवाड़ में एक एमआई-17 हेलीकॉप्टर को तैयार रखा है। अधिकारियों ने बताया कि राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) और राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के छह दल अभियान में शामिल हैं। इसके साथ ही पुलिस, सेना के अन्य बचावकर्ता और स्थानीय स्वयंसेवक भी अभियान में शामिल हैं। मौसम विज्ञान विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि जम्मू कश्मीर के ज्यादातर हिस्सों में हल्की बारिश का अनुमान है। उन्होंने कहा, ‘‘शुक्रवार को भी ऐसी ही परिस्थितियां बने रहने की संभावना है। कुछ स्थानों पर थोड़ी देर के लिए भारी बारिश हो सकती है जिससे अचानक बाढ़ आ सकती है, मिट्टी धंस सकती है और भूस्खलन हो सकता है।” उन्होंने लोगों को चौकन्ना रहने और संवेदनशील स्थानों से दूर जाने की सलाह दी।