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Published: Jun 25, 2021 02:47 PM ISTNarada Scamनारदा मामले में सुप्रीम कोर्ट ने ममता बनर्जी, मलय घटक के हलफनामे अस्वीकार करने का उच्च न्यायालय का आदेश निरस्त किया
नयी दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने नारद मामले को स्थानांतरित करने की सीबीआई की अर्जी पर दाखिल किए गए पश्चिम बंगाल राज्य, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और कानून मंत्री मलय घटक के जवाबी हलफनामे स्वीकार नहीं करने का कलकत्ता उच्च न्यायालय आदेश शुक्रवार को रद्द कर दिया।
न्यायमूर्ति विनीत शरण और न्यायमूर्ति दिनेश माहेश्वरी की आवकाशकालीन पीठ ने उच्च न्यायालय के कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति राजेश बिंदल की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय पीठ से आग्रह किया कि सीबीआई की याचिका पर फैसला करने से पहले पश्चिम बंगाल राज्य, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और कानून मंत्री मलय घटक के आवेदनों पर नए सिरे से विचार करे।
शीर्ष अदालत तीन अपीलों पर सुनवाई कर रही थी जिसमें नारद स्टिंग से जुड़े मामले में सीबीआई द्वारा 17 मई को तृणमूल कांग्रेस के चार नेताओं की गिरफ्तारी के दिन मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और कानून मंत्री मलय घटक की भूमिका पर उन्हें हलफनामे दाखिल करने की अनुमति देने से कलकत्ता उच्च न्यायालय के इनकार के खिलाफ राज्य सरकार की अपील भी शामिल है।
आरोप लगाया गया है कि राज्य के सत्तारूढ़ दल के नेताओं ने मामले में चारों नेताओं की गिरफ्तारी के बाद सीबीआई को अपना वैधानिक कर्तव्य निभाने में अड़चन डालने में महत्वपूर्ण भूमिका निभायी थी।
उच्च न्यायालय के आदेश पर सीबीआई ने नारद स्टिंग मामले में मंत्री सुब्रत मुखर्जी और फरहाद हकीम, तृणमूल कांग्रेस के विधायक मदन मित्रा और कोलकाता के पूर्व महापौर शोभन चटर्जी को गिरफ्तार किया था। (एजेंसी)