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Published: Jul 19, 2021 09:06 AM IST

Uttarakhand Cloudburstउत्तराखंड: उत्तरकाशी में बरपा कुदरत का कहर, 1 परिवार के 3 लोगों की मौत, 1 लापता

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम

देहरादून. उत्तराखंड (Uttarakhand) के उत्तरकाशी जिले (Uttarkashi) में बादल फटने (Cloudburst) से तीन साल की बालिका और उसकी मां सहित एक ही परिवार के तीन सदस्यों की मौत हो गई और एक अन्य लापता है। प्रदेश के अधिकतर स्थानों पर तीन दिन से लगातार जारी बारिश से सामान्य जनजीवन अस्तव्यस्त हो गया है । मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने घटना पर शोक प्रकट किया और कहा, ‘‘जिलाधिकारी को राहत और बचाव कार्य प्राथमिकता से करने के निर्देश दिए हैं ।

ईश्वर से प्रभावितों की कुशलता की कामना करता हूँ।” उधर, देहरादून (Dehradun) जिले के विकासनगर क्षेत्र में छिबरो जलविद्युत परियोजना में फंसे दो मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकालने के लिए अभियान अभी जारी है । उत्तरकाशी के जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल ने बताया कि उत्तरकाशी जिले के गंगोरी रोड पर मांडव गांव में रविवार देर रात बादल फटने से घरों में मलबा घुस गया जिसमें एक ही परिवार की माधुरी देवी (36), ऋतु देवी (32) और उसकी तीन वर्षीय पुत्री तृष्वी की मृत्यु हो गई। तीनों के शव बरामद कर लिए गए हैं । उन्होंने बताया कि घटनास्थल के नजदीक कंकराडी गांव में भी मलबे में एक अन्य व्यक्ति के लापता होने की सूचना है जिसकी तलाश के लिए अभियान चलाया जा रहा है । मलबे में लोगों के फंसे होने की सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची पुलिस और राज्य आपदा मोचन बल की टीम ने तत्काल बचाव और राहत अभियान शुरू कर ज्यादातर लोगों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया । इस बीच, उत्तराखंड सरकार के उपक्रम यूजेवीएन लिमिटेड की छिबरो जलविद्युत परियोजना में रविवार को फंसे दो मजदूरों को बाहर निकालने के प्रयास अभी जारी हैं ।

कालसी के पुलिस थानाध्यक्ष ऋतुराज सिंह ने बताया कि देहरादून जिले के विकासनगर क्षेत्र में स्थित परियोजना की सुरंग में सुबह तीन मजदूर काम करने गए थे जहां वे ऑक्सीजन की कमी के कारण बेहोश हो गए । हालांकि, होश में आने पर एक मजदूर बाहर आ गया जिसने दो और मजदूरों के वहां फंसे होने की सूचना दी । पुलिस अधिकारी ने बताया कि दोनों मजदूरों को बाहर निकालने के लिए बचाव अभियान चलाया जा रहा है । उधर, प्रदेश के ज्यादातर स्थानों पर पिछले तीन दिन से रूक—रूक कर लगातार जारी बारिश से गंगा, यमुना, भागीरथी, अलकनंदा, मंदाकिनी, पिंडर, नंदाकिनी, टोंस, सरयू, गोरी, काली, रामगंगा आदि सभी नदियां उफान पर हैं जिनकी सतत निगरानी की जा रही है। अनेक स्थानों पर भारी बारिश से भूस्खलन होने से अनेक मार्ग यातायात के लिए अवरूद्ध हैं जिन्हें खोलने के प्रयास जारी हैं। कई स्थानों पर अतिवृष्टि से मकानों और खेतों में मलबा भी घुस आया है।