अकोला

Published: Dec 19, 2021 10:33 PM IST

Protest29 दिसंबर को भूमिहीन, बेघर और गैर 7/12 किसानों को न्याय दिलाने के लिए मोर्चा

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम

अकोला. भूमिहीन बेघर आंदोलन के संस्थापक जगदीश कुमार इंगले के नेतृत्व में 29 दिसंबर को जिलाधिकारी कार्यालय पर संघर्ष मोर्चा का आयोजन किया जा रहा है. इस संदर्भ में जिलाधिकारी को एक निवेदन दिया गया है. अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति के भूमिहीन बेघर लोगों ने कृषि उद्देश्यों के लिए अतिक्रमण किया है. जिससे वे आवश्यक वस्तुओं की बुवाई करके परिवार का भरण पोषण करते हैं.

लेकिन सरकार के 12 जुलाई 2011 के निर्णय ने गायरान गुरचर या ग्रामीणों की सार्वजनिक उपयोग की भूमि किसी भी व्यक्ति, निजी संस्था, संघ को किसी भी उद्देश्य के लिए स्वीकृत नहीं की जानी चाहिए, इस तरह के निर्देश भले ही सरकार के स्तर से हैं, लेकिन स्थानीय राजस्व प्रणाली अतिक्रमण की गई भूमि की अक्षम्य रूप से उपेक्षा कर रही है.

इसका एक उदाहरण 2021 के खरीफ सीजन के दौरान बोई गई फसलों का रिकॉर्ड लेने में विफलता है, जब वास्तविक जमीन पर बुवाई करते समय फसल रिकॉर्ड नहीं लिया गया था. जब पटवारी से फसल की बुवाई के लिए कहा जाता है, तो वह उत्तर देते हुए जिम्मेदारी से कतराता है कि 7/12 आपके नाम पर नहीं है, इसलिए फसल की बुवाई नहीं लिखी जा सकती.

इसलिए जो किसान जमीन की बुआई कर रहे हैं, यानी जिन किसानों के नाम 7/12 नहीं है, लेकिन जमीन पर कब्जा कर रहे हैं, उनके साथ काफी अन्याय हो रहा है. इसके लिए भूमिहीन बेघर आंदोलन के प्रणेता जगदीश कुमार इंगले के नेतृत्व में भूमिहीन बेघर और गैर 7/12 किसान भूमिहीनों के अधिकार के लिए 29 दिसंबर 2021 को जिलाधिकारी कार्यालय अकोला एवं तहसील कार्यालय अकोट में संघर्ष मोर्चा का आयोजन किया जायेगा. इस संबंध में हाल ही में एक निवेदन जिलाधिकारी को सौंपा गया है.

इस निवेदन पर मुख्य संयोजिका मंगला गवई, मोहम्मद फारुख मो. समद, नईमोद्दीन फखरोद्दीन, शेख रहेमान शेख आमद, शेख इमरान शेख रहेमान, शेख जाबीर शेख हुसेन, रामभरोसे रावते, शबानाबी साबीर मिर्झा, उषा नारे, मंगला पाखरे, हामीद हुसेन लियाकत हुसैन, आमेनाबी शेख जाफर आदि के हस्ताक्षर हैं.