अकोला

Published: Apr 12, 2023 09:25 AM IST

Maharashtra Politicsठाकरे गुट के विधायक की फिसली जुबान,बताया राज्य कृषि मंत्री अब्दुल सत्तार को 'नाली का ....'

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम
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नई दिल्ली/अकोला. महाराष्ट्र से मिल रही बड़ी खबर के अनुसार, यहां के अकोला जिले के बालापुर से शिवसेना ठाकरे गुट के विधायक नितिन देशमुख (Nitin Deshmukh) ने राज्य के कृषि मंत्री अब्दुल सत्तार की आलोचना करते हुए उनकी जुबान फिसल गई है। ही हां, दरअसल नितिन देशमुख ने कहा है कि। अब्दुल सत्तार (Abdul Sattar) गंदे नाली के कीड़े हैं।

दरअसल मामला अकोला जिले के बालापुर तालुका के पारस गांव में बारिश का है, जहां भयंकर ओलावृष्टि हुई थी। वहीं हाल ही में कृषि मंत्री कोलवाड पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने तूफान, बेमौसम बारिश और ओलों से हुए नुकसान का जायजा लिया था। प्रभावित किसानों से बातचीत करते हुए अब्दुल सत्तार ने आश्वासन दिया था कि सरकार किसानों को अकेला नहीं छोड़ेगी। सत्तार ने किसानों को हर संभव मदद का आश्वासन भी दिया था।  वहीं अब्दुल सत्तार  (Abdul Sattar) ने कहा कि, क्या प्रभु रामचंद्र संजय राउत से पूछकर आशीर्वाद देंगे? ऐसा कहते हुए कृषि मंत्री ने ठाकरे गुट के नेता का मजाक उड़ाया था। 

वहीं अब्दुल सत्तार को लेकर निजी मीडिया को दिए एक साक्षात्कार में शिवसेना ठाकरे गुट के विधायक नितिन देशमुख ने कहा कि, हम लोगों को सत्तार से सलाह लेने की जरूरत नहीं है। वे गंदे नाली के कीड़े हैं। जब पारस की घटना हुई तब मैं वहां था। मैं वहां गया जहां ओलावृष्टि भी हुई थी। अगर सत्तार को सलाह देनी है तो, हमारे जिले के पालक मंत्री देवेंद्र फडणवीस को दी जानी चाहिए। क्योंकि जिले के पालक मंत्री होने के नाते जिले में हो रही घटनाओं पर उन्हें ध्यान देने की जरूरत है। पारस हादसे में उनका कर्तव्य ज्यादा बनता है। नितिन देशमुख ने यह भी कहा कि, मैंने फडणवीस को अमरावती में भी आने को कहा था, लेकिन वे यहां नहीं आए।

गौरतलब है कि, महाराष्ट्र के कृषि मंत्री अब्दुल सत्तार ने इसके पहले एक बार कहा था कि, किसानों का आत्महत्या करना कोई नयी बात नहीं है। ऐसी घटनाएं कई वर्षों से हो रही हैं।  दरअसल औरंगाबाद जिले में अपने निर्वाचन क्षेत्र सिल्लोड में किसानों के आत्महत्या करने के विषय में पूछे गए एक सवाल के जवाब में यह बात कही थी। अब्दुल सत्तार ने कहा था कि, “किसानों के आत्महत्या करने का मामला कोई नया नहीं है। ऐसी घटनाएं कई वर्षों से हो रही हैं।मेरा मानना है कि मेरे निर्वाचन क्षेत्र सहित महाराष्ट्र में कहीं भी किसानों द्वारा आत्महत्या करने की घटनाएं नहीं होनी चाहिए। “