भंडारा

Published: Jun 30, 2021 10:17 PM IST

Online Educationबच्चों की पढ़ाई पर लगा कोरोना का ग्रहण, शुल्क वसूलने पर पाबंदी लगाने की आवश्यकता

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम
Representational Pic

तुमसर. गत वर्ष से शालाए बंद रहने से बच्चों की पढ़ाई तो जरूर प्रभावित होगी, लेकिन बच्चों की सुरक्षा के लिए यह बेहद जरूरी है. सरकार द्वारा शालाए बंद करने का आदेश जारी किया गया है. लेकिन शुल्क को लेकर पाबंदी नहीं लगाए जाने से अभिभावकों में असंतोष का वातावरण पनप रहा है.

आनलाइन पढ़ाई से बच्चों के स्वास्थ्य पर पड़ा असर

 कोरोना के कारण गत वर्ष भर से सभी शालाएं बंद रही थी. लेकिन अगली कक्षा में प्रमोट के लिए स्कूल प्रशासन द्वारा पूरे वर्ष की फीस जमा करने का दबाव बना रहा है. नाममात्र ऑनलाइन पढ़ाई करवाकर अब पूरा शुल्क जमा करने पर ही बच्चों को पास करने का दबाव बनाया जा रहा हैं.

गत वर्ष घंटों मोबाइल पर नजरें गड़ाकर ऑनलाइन पढ़ाई करने से बच्चों के स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव पडा था. कोरोना महामारी के कारण इस वर्ष भी स्कूल बंद रहने से वर्ष 2021-22 का सत्र भी प्रभावित होगा एवं यदि इसी तरह विद्यालय लगातार बंद रहे तो बच्चों की पढ़ाई तो प्रभावित होगी ही साथ ही स्कूलों को अपनी स्थिति से उबरना भी मुश्किल होगा.

सरकार द्वारा कोरोना की गाइड लाइन का कड़ाई से पालन कराते हुए स्कूल खुलवाने की दिशा में प्रयास करना चाहिए.  विद्यालय बंद होने से प्राइवेट अध्यापकों के सामने जीविका की समस्या खड़ी हो जाएंगी.