चंद्रपुर

Published: Feb 14, 2024 12:37 PM IST

Valentine Day Special Storyमहाराष्ट्र के इस गांव में 'ऐसे' मिलता है प्रेमियों को प्यार, 40 सालों से चल रही प्रेम विवाह की परंपरा

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम
प्रेमविवाह (प्रतीकात्मक तस्वीर)

महाराष्ट्र: आज प्यार का त्यौहार यानी वैलेंटाइन डे (Valentine Day 2024) है। प्रेमी जोड़ों के लिए यह दिन बहुत खास है। हर जगह प्यार का खुशनुमा माहौल बना हुआ है, ऐसे में आज हम आपको एक ऐसे गांव के बारे में बताने जा रहे है, जहां ज्यादातर प्रेम विवाह (Love Marriage) ही होते है। महाराष्ट्र (Maharashtra News)  के चंद्रपुर (Chandrapur Love Marriage) में एक ऐसा गांव है, जो प्रेम विवाह के लिए जाना जाता है।

यहां होता है प्रेम विवाह 

निजी मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, यहां के गोंडपिपरी तालुका के करंजी गांव में पिछले चार दशकों में 200 से अधिक प्रेम विवाह हुए हैं। जानकारी के लिए आपको बता दें कि महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री और मौजूदा नेता प्रतिपक्ष विजय वडेट्टीवार भी इसी गांव के रहने वाले हैं। उनके बारे में ग्रामीणों का कहना है कि उन्होंने भी प्रेम विवाह किया था। इतना ही नहीं, 11 सदस्यीय ग्राम पंचायत के छह सदस्यों जैसे सरपंच और उपसरपंच ने भी प्रेमविवाह ही क्या है। आइए जानते है इस अनोखे गांव के बारे में… 

प्रेमविवाह (प्रतीकात्मक तस्वीर)

40 सालों की परंपरा

मिली जानकारी के मुताबिक, इस गांव में प्रेम विवाह की परंपरा पिछले चार दशकों से चली आ रही है, जिसके बारे में कहा जाता है कि यह आज भी जारी है। दरअसल इस गांव में तंटामुक्त समिति सक्रिय है जो गांव में होने वाले विवादों को सुलझाने का काम करती है। इस समिति के माध्यम से उन लोगों को मार्गदर्शन दिया जाता है जो प्रेम विवाह करना चाहते हैं। इतना ही नहीं बल्कि उनके परिवार को समझाया जाता है और फिर इसके बाद लड़का और लड़की दोनों की सहमति के बाद गांव के मंदिर या ग्राम पंचायत में शादी कराई जाती है।

प्रेमिवाह कर जीते है ख़ुशी से जिंदगी 

दरअसल शुरुआत में इस गांव में प्रेम विवाह का विरोध हुआ था लेकिन अब यह यहां की परंपरा बन गई है। जानकारी के लिए आपको बता दें कि इस गांव में सभी धर्मों के लोग रहते हैं और यहां ज्यादातर प्रेम विवाह अंतरजातीय होते हैं। गांव के निवासी प्रदीप खोबरागड़े ने निजी मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि जब वह पढ़ाई कर रहे थे, तब उन्हें पड़ोस में रहने वाली सुरेखा से प्यार हो गया और उन्होंने 1997 में शादी कर ली। शादी से पहले उनका चार साल तक अफेयर चला था। अब उनकी शादी को 27 साल हो गए हैं। उनके दो बेटे हैं और वह अपनी पत्नी के साथ खुशहाल जिंदगी जी रहे हैं।

प्रेम विवाह (प्रतीकात्मक तस्वीर)

मनाया जाता है परिवारों को

गांव में तंटामुक्त समिति के पूर्व अध्यक्ष तुकेश वानोडे बताते हैं कि 2007 में महाराष्ट्र सरकार ने तंटामुक्त समिति का गठन किया था, उस समय वे इस समिति के अध्यक्ष थे और उनके कार्यकाल में सबसे ज्यादा प्रेम विवाह हुए थे। जो जोड़े घर से भाग जाते हैं और गलत कदम उठाते हैं उन्हें उचित मार्गदर्शन दिया जाता है और उनके परिवारों को समझाकर शादी करा दी जाती है। इस तरह यहां दो प्यार करने वालों को मिलाया जाता है।