नाशिक

Published: Sep 18, 2020 07:05 PM IST

गड्ढे मनपा करेगी गड्ढे भरने के लिए फिर से 30 करोड़ रुपए खर्च

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम

नाशिक. नाशिक शहर के रस्तों पर विगत चार वर्षों में 500 करोड़ रुपए खर्च होने के बावजूद बारिश के दौर में नागरिकों को रस्ते पर निर्माण हुए गड्ढों में उछल कूद करनी पड़ रही है. इस अवसर का फायदा उठाते हुए मनपा के निर्माण विभाग ने शहर के रस्तों पर निर्माण हुए गड्ढे भरने के लिए फिर से 30 करोड़ रुपए ठेका देने की तैयारी की है. नए रस्तों का दायित्व ठेकेदार के पास होने के बावजूद मनपा के अधिकारी-लोकप्रतिनिधियों ने फिर से तिजोरी पर डाका डालने की तैयारी शुरू कि है. इसके माध्यम से ठेकेदार सहित पदाधिकारियों की भरेगी झोली.

शहर के अधिकांश रस्ते सिंहस्थ व मनसे के सत्ताकाल में पूर्ण हुए है. रस्ते पर हजार करोड़ के आसपास खर्च हुआ है. विगत चार वर्षो में कुल 500 करोड़ के नए रस्ते तैयार हुए है, जिसके मरम्मत की जिम्मेदारी ठेकेदार कि है. इसके बावजूद गड्ढे भरने के लिए मनपा के माध्यम से नियोजन किया जा रहा है. गड्ढों को लेकर नगरसेवकों ने शिकायत करने के बाद व सातपुर प्रभाग सभापति संतोष गायकवाड़ के आंदोलन का फायदा उठाकर निर्माण विभाग ने रस्तों के गड्ढे भरने के लिए फिर से एक बार सालाना 30 करोड़ रुपए खर्च करने की तैयारी शुरू कि है.

कहा है गुणवत्ता नियंत्रण विभाग?

रस्तों के स्तर की जांच करने का कार्य गुणवत्ता नियंत्रण विभाग के पास होता है, लेकिन मनपा का गुणवत्ता नियंत्रण विभाग केवल कागजों पर कार्यरत होने का चित्र देखने को मिल रहा है. विगत वर्ष नंवबर महिने में कुल 8 हजार गड्ढे भरने का दावा किया गया था, लेकिन अब फिर से 30 करोड़ रुपए इस पर उड़ाए जा रहे है, जिसे लेकर नागरिकों में आश्चर्य व्यक्त किया जा रहा है.

नए रस्तों पर गड्ढे नहीं : घुगे

इस बारे में जानकारी देते हुए मनपा के शहर अभियंता संजय घुगे ने कहा, शहर के अनेक रस्तों पर गड्ढे होने की बात ठिक है, लेकिन नए रस्ते पर अथवा ठेकेदार के माध्यम से देखभाल-दुरुस्ती कालावधी में अंतर्भूत रस्ते पर गड्ढे अधिक नहीं है.