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Published: Jul 18, 2021 07:00 AM IST

United Nationभारत ने संयुक्त राष्ट्र विशेषज्ञ समूह की टिप्पणियों को 'दुर्भाग्यपूर्ण' करार दिया

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम

संयुक्त राष्ट्र/जिनेवा: भारत (India)ने शनिवार को फरीदाबाद के खोरी गांव मामले में संयुक्त राष्ट्र (United Nation) मानवाधिकार विशेषज्ञ समूह द्वारा की गई टिप्पणियों को ”दुर्भाग्यपूर्ण” एवं ”पद का दुरुपयोग” करार दिया और कहा कि उन्हें किसी भी लोकतांत्रिक समाज (democratic society) में कानून के शासन (Rule of law)को कमजोर करने से बचना चाहिए। समूह ने भारत सरकार (Indian government) से खोरी गांव से करीब 1,00,000 लोगों (People) को हटाए जाने की कार्रवाई रोकने का आह्वान किया था। 

जिनेवा स्थित भारत के स्थायी मिशन एवं अन्य अंतरराष्ट्रीय संगठनों ने एक बयान में कहा, ” यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि इस मिशन को संयुक्त वकतव्य भेजे जाने के केवल दो दिन बाद ही विशेष प्रतिवेदक ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी करने का निर्णय लिया और प्रतिक्रिया दिए जाने तक का भी इंतजार नहीं किया।”

संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार विशेषज्ञों ने शुक्रवार को भारत से फरीदाबाद के खोरी गांव में अतिक्रमण अभियान के तहत लगभग 100,000 लोगों को नहीं हटाने का आह्वान करते हुए कहा था कि महामारी के दौरान निवासियों को सुरक्षित रखना विशेष रूप से महत्वपूर्ण है और लोगों को हटाने संबंधी उच्चतम न्यायालय का आदेश ‘‘बेहद चिंताजनक” है। इसके बाद यह बयान सामने आया है।

विशेषज्ञों ने एक बयान में कहा था, ‘‘हमें यह बेहद चिंताजनक लगता है कि भारत का सर्वोच्च न्यायालय, जिसने अतीत में आवास अधिकारों की सुरक्षा का नेतृत्व किया है, अब लोगों को बेदखल करने संबंधी आदेश दे रहा है जैसा कि खोरी गांव में हुआ है।”

भारतीय मिशन ने कहा, ” यह भी दुर्भाग्यपूर्ण है कि विशेष प्रतिवेदकों ने भारत के उच्चतम न्यायालय के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी की है। विशेष प्रतिवेदकों द्वारा ऐसा किया जाना पद का दुरुपयोग है जो कि ऐसी संस्थाओं की विश्वसनीयता को चोट पहुंचाता है।” (एजेंसी)