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Published: Apr 05, 2024 12:54 PM IST

Israel Gaza Warइजराइल को हथियार बेचने वाले देश कर रहे अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन: कानूनी विशेषज्ञ

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम
फाइल फोटो

ब्रिस्टल: ब्रिटेन सरकार को मिली कानूनी सलाह में दावा किया गया है कि इज़राइल ने गाजा पर अपने मौजूदा युद्ध में अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून को तोड़ा है। यह खुलासा हाउस ऑफ कॉमन्स की विदेशी मामलों की प्रवर समिति की कंजर्वेटिव अध्यक्ष एलीशिया केर्न्स ने 13 मार्च को चंदा जुटाने वाले एक कार्यक्रम में किया और ऑब्जर्वर’ अखबार ने यह खबर दी। अखबार ने ब्रिटिश बैरिस्टर और युद्ध अपराध अभियोजक सर ज्योफ्रे नीस के हवाले से कहा इजराइल को हथियार आपूर्ति करने वाले देश अब युद्ध आपराध में संलिप्त किये जा सकते हैं। द गार्डियन ने खुलासा किया है कि ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक को 600 वकीलों और शिक्षाविदों द्वारा हस्ताक्षरित एक पत्र मिला है। पत्र में आगाह किया गया है कि ब्रिटेन द्वारा इज़राइल को की जा रही हथियारों की बिक्री भी अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत अवैध है।

अंतरराष्ट्रीय कानून इस मुद्दे पर क्या कहता है, और गाजा पर हमले के संबंध में ब्रिटेन (और अन्य देशों) के कानूनी दायित्व क्या हैं? हाल के महीनों में, कई देशों ने इजराइल को हथियारों का निर्यात रोकने का ऐलान किया है। इनमें कनाडा, बेल्जियम, इटली, स्पेन और नीदरलैंड के साथ-साथ जापानी कंपनी इतोचू कॉर्पोरेशन भी शामिल है। अब तक इजराइल को हथियारों के सबसे बड़े आपूर्तिकर्ता रहे जर्मनी और अमेरिका ने अभी तक ऐसा इरादा नहीं जताया है। ब्रिटेन ने भी ऐसा नहीं किया है लेकिन 2022 में वह इजराइल के प्रमुख आपूर्तिकर्ताओं में शामिल नहीं है। इजराइल को हथियारों का निर्यात रोकना न केवल राजनीतिक चिंताओं को दर्शाता है, बल्कि गाजा पर हमले में इजराइल को सैन्य समर्थन जारी रखने की वैधता को लेकर भी डर है।

नीदरलैंड की अपील अदालत ने फरवरी में फैसला सुनाया कि डच सरकार को संयुक्त राष्ट्र हथियार व्यापार संधि के तहत अपने दायित्वों के आधार पर एफ35 लड़ाकू जेट के कलपुर्जों की बिक्री बंद करनी चाहिए। ऐसा ही एक मुकदमा डेनमार्क में लंबित है। ब्रिटेन में, उच्च न्यायायलय ने सरकार द्वारा इजराइल को हथियार निर्यात के जारी लाइसेंस को चुनौती देने के प्रयास को खारिज कर दिया। फैसले में इजराइल (या ब्रिटेन) के अंतरराष्ट्रीय कानून के अनुपालन के बारे में कुछ भी निश्चित नहीं कहा गया। इसके बाद, विभिन्न दलों के 130 सांसदों और विशेषज्ञों ने हाल ही में विदेश मंत्री को दिए एक पत्र पर हस्ताक्षर किए, जिसमें सरकार से इजराइल को हथियारों का निर्यात निलंबित करने का आह्वान किया गया।

ब्रिटेन जैसे देशों की अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत स्थिति क्या है? अंतरराष्ट्रीय कानून के कई विशिष्ट और सामान्य नियम हैं जो यहां प्रासंगिक हैं। सबसे स्पष्ट बात, और जिस पर ब्रिटिश सांसदों के पत्र में जोर दिया गया है, वह संयुक्त राष्ट्र हथियार व्यापार संधि में है, जिसमें ब्रिटेन एक पक्ष है। इसके अनुच्छेद 7 में सभी हथियारों के हस्तांतरण के लिए जोखिम मूल्यांकन की आवश्यकता का उल्लेख है, और यह उन निर्यातों पर प्रतिबंध लगाता है जहां हथियारों का उपयोग अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून (सशस्त्र संघर्ष के कानून) के गंभीर उल्लंघन के लिए किये जाने का जोखिम है। भविष्य के उल्लंघनों के जोखिम का निर्धारण करने के लिए हमारे पास एकमात्र वस्तुनिष्ठ परीक्षण यह जांचना है कि क्या इजराइल द्वारा किए गए कथित पिछले उल्लंघनों का सबूत है।

उपलब्ध साक्ष्यों से पता चलता है कि गाजा में इजराइली कार्रवाइयों के अनगिनत उदाहरण हैं जो पहली नजर में अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून के साथ असंगत प्रतीत होते हैं। हालिया उदाहरण एक अप्रैल को सहायता काफिले पर किया गया इजराइली हमला है। हमले में अस्पतालों और राहत अभियान को निशाना बनाया गया। द हेग कोर्ट ऑफ अपील ने डच सरकार को इजराइल के लिए हथियारों का निर्यात निलंबित करने का आदेश दिया था। यह आदेश एमनेस्टी इंटरनेशनल और संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्टों पर आधारित था जिनमें गाजा में सशस्त्र संघर्ष के कानून के स्पष्ट उल्लंघन के कई उदाहरण सूचीबद्ध थे। यह पिछले गंभीर उल्लंघनों का तरीका बताता है और ऐसे उल्लंघन जारी रहने का स्पष्ट जोखिम है। इसलिए, हथियार व्यापार संधि पर हस्ताक्षर करने वाले देश इज़राइल को हथियारों की आपूर्ति जारी रख रहे हैं, जो संभवतः अनुच्छेद 7 का उल्लंघन है।

फिर भी सभी राष्ट्रों के पास अन्य दायित्व हैं जो गाजा के संबंध में विशेष महत्व रखते हैं। इनमें से एक जीनोसाइड कन्वेन्शन के अनुच्छेद 1 के तहत नरसंहार को रोकने का दायित्व है। प्रधानमंत्री को भेजे गए पत्र में यह विशेष रूप से उल्लेखित है। यह विशेष रूप से प्रासंगिक है क्योंकि अंतरराष्ट्रीय न्यायालय (आईसीजे) ने जनवरी में कहा था कि जीनोसाइड कन्वेन्शन के तहत गाजा में फलस्तीनियों के अधिकारों को अपूरणीय क्षति का आसन्न खतरा है। इस प्रकार, सभी देश यह सुनिश्चित करने के लिए कानूनी रूप से बाध्य हैं कि अन्य देश अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून का अनुपालन करें। यदि बड़े पैमाने पर विनाश, बड़े पैमाने पर नागरिकों की मौत और गाजा के लोगों की घोर पीड़ा भी इजराइल के सहयोगियों को उनकी हथियारों की बिक्री पर रोक लगाने लिए पर्याप्त नहीं है, तो ऐसी किसी भी स्थिति की कल्पना करना मुश्किल है। (भाषा)