Bhandara School

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    अमरावती. कोरोना की दूसरी लहर पर काबू पाए जाने के बाद भी शाला शुरू करने को लेकर शिक्षा विभाग ने फिलहाल कोई दिशा निर्देश जारी नहीं किए है. इसके कारण फ़िलहाल अनलॉक में शालाएं लॉक रहेगी या अनलॉक होगी. इसको लेकर अभिभावकों का ध्यान लगा है.

    डेढ़ वर्ष से प्रभावित हैं शिक्षा 

    कोरोना संक्रमण के कारण पिछले डेढ़ वर्ष से शिक्षा क्षेत्र प्रभावित है. पहली कक्षा से लेकर नौवीं कक्षा तक की परीक्षा रद्द कर दी गई थी. इस वर्ष भी पहली से लेकर नौवीं कक्षा की परीक्षा रद्द करनी पड़ी है. कोरोना संक्रमण के बढ़ते प्रादुर्भाव को ध्यान में रखते हुए सीबीएसई बोर्ड ने दसवीं और बारहवीं की मुख्य परीक्षा भी रद्द की.

    इसी पृष्ठभूमि पर राज्य के शालेय शिक्षा विभाग ने भी दसवीं और 12वीं की परीक्षा रद्द करने का निर्णय लिया है. दूसरी लहर पर काबू पाए जाने के बीच अब तीसरी लहर में बच्चों पर खतरा होने की आशंका जताये जाने से शालाएं शुरू होगी या नहीं. इस ओर सभी का ध्यान लगा है. 

    खोलने से पहले करना होंगा सैनिटाइजेशन 

    ग्रामीण क्षेत्रों में आयसोलेशन के लिए जिला परिषद की अनेक शालाएं ग्राम पंचायतों के कब्जे में है. जिसके कारण शालाएं शुरू करनी पड़ती है तो सबसे पहले शालाओं का सैनिटाइजेशन, साफ-सफाई का कार्य अभी से शुरू करना होंगा, लेकिन अभी तक साले शिक्षा विभाग ने इस बारे में दिशा-निर्देश जारी नहीं किए है. 

    शिक्षकों को आना पड़ेगा

    इस वर्ष भी विद्यार्थियों के लिए शालाएं बंद है, लेकिन प्रशासकीय कार्यों के लिए शिक्षकों को शाला में आना होंगा. टीकाकरण और शिक्षा विभाग के प्रशासकिय कामकाज निपटाने के लिए शिक्षकों को शालाओं में बुलाया जा सकता है. विदर्भ में प्रतिवर्ष 26 जून को शालाएं खुलती है.- इजेड खान, शिक्षाधिकारी प्राथमिक