पीएसआइ चौबे को राष्ट्रपति पदक, राज्यपाल करेगे सम्मानित

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अमरावती. अमरावती ग्रामीण पुलिस के साइबर पुलिस इंचार्ज पीएसआई वीरेंद्र श्रीकृष्ण चौबे को उत्कृष्ठ सेवा के लिए राष्ट्रपति पदक मिला है. जिन्हें राज्यपाल के हाथों यह पुरस्कार प्रदान किया जाएगा, अमरावती जिला व रेंज से वीरेंद्र चौबे एकमात्र अधिकारी है, जिन्हें यह सम्मान मिला है. वीरेंद्र चौबे की पुलिस में 36 वर्ष सेवा हो चुकी है. 24 जुन 1985 में यवतमाल जिले में पुलिस कर्मी पद से सेवा में आये. जहां से अमरावती में बडनेरा, ट्राफिक पुलिस, क्राइम ब्रांच, कम्प्युटर सेक्शन, साइबर सेल में सेवा दी है.

दिल्ली व बिहार के फ्रांड का पर्दाफाश
मुलताह अमरावती निवासी पीएसआई चौबे ने साइबर सेल के प्रमुख का चार्ज संभालने के बाद दिल्ली व बिहार की आनलाइन फ्राड करने वाले गिरोह का पर्दाफाश किया. जिनसे 6 लाख के फ्राड का मामले उजागर किये. वर्ष 2017 में उन्हें पुलिस महासंचालक पदक से भी सम्मानित किया गया है. उनके पिता श्रीकृष्ण प्रसिध्द वकील थे, जबकि भाई विजय चौबे विद्यापीठ में विधि विभाग प्रमुख व अजय चौबे स्वीजरलैंड में है, जबकि बहन संजुला चौबे वकील है. उनके परिवार में मां दुर्गा, पत्नी मीना, बेटे अंछिता व बेटा युवराज है. पीएसआई चौबे को जल्द ही राजभवन से निमंत्रित कर राज्यपाल के हाथों से यह राष्ट्रपति पदक दिया जाएगा.

अकोला के खरर्चे को भी पदक
अकोला के कोतवाली थाने में कार्यरत एएसआइ विजय वासुदेव खरर्चे को भी पुलिस सेवा में उत्कष्ट कार्य करने के लिए राष्ट्रपति पदक घोषित किया गया है. विजय खरर्चे अकोला जिले में एकमात्र कर्मी है, जिसे इस राष्ट्रपति पदक से सम्मानित किया.