मुस्लिम समुदाय को आरक्षण देने आयोग की स्थापना करें सरकार

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  • जनजागरण समिति महाराष्ट्र की सीएम ठाकरे से मांग

औरंगाबाद. मराठा समुदाय के साथ ही मुस्लिम समाज को सामाजिक, शैक्षणिक पिछड़ापन दूर करने के लिए उन्हें सरकारी सेवा और शिक्षा क्षेत्र में आरक्षण देने का निर्णय राज्य की तत्कालीन आघाडी सरकार ने लिया है. मुस्लिम समुदाय को आरक्षण देने सरकार सकारात्मक है. ऐसे में मुस्लिम समुदाय को आरक्षण देने के लिए तत्काल आयोग का गठन किया जाए. यह मांग जनजागरण समिति महाराष्ट्र के पदाधिकारियों ने जिलाधिकारी के माध्यम से राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार और राज्य के अल्पसंख्यक मंत्री नवाब मलिक को एक ज्ञापन भेजकर की.

5 प्रतिशत आरक्षण का दिया था आदेश

ज्ञापन में समिति ने बताया कि राज्य के मुस्लिम समाज के सामाजिक और शैक्षणिक पिछड़ापन दूर करने के लिए तत्कालीन राज्य सरकार ने एक कमेटी गठित कर समिति के सिफारिशों के अनुसार राज्य के मुस्लिमों को नौकरी और शिक्षा में 5 प्रतिशत आरक्षण देने का अध्यादेश जारी किया, लेकिन, उसे मुंबई हाईकोर्ट में आवाहान दिया गया. उसके बाद भाजपा सरकार ने इस निर्णय को रद्द किया. आरक्षण स्थाई रुप से टीके, इसके लिए सरकार ने राज्य पिछड़ा आयोग गठित करने की मांग सीएम ठाकरे से की गई.

मराठा समाज के साथ अध्यादेश निकालने की मांग

अंत में ज्ञापन में छात्रों का शैक्षणिक और नौकरी में नुकसान न हो, इस बात को सामने रखकर मराठा समाज के साथ ही मुस्लिम समाज के आरक्षण का अध्यादेश निकालने की मांग की गई. ज्ञापन पर समिति के अध्यक्ष मोहसीन अहमद, एमए गफ्फार, एड. कैसरोददीन, डॉ. शाहेद शेख, वायके बिल्डर, डॉ. एसवी रजवी, डॉ. अश्फाक अहमद एकबाल, फेरोज खान पठान, सैयद अजीम, एड. नवाब पटेल आदि के हस्ताक्षर है.