डीपीडीसी के माध्यम से खर्च होनेवाला निधि ग्रामीण क्षेत्र पर खर्च करें

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  • विधायक प्रशांत बंब की पालकमंत्री देसाई से मांग 

औरंगाबाद. कोरोना महामारी ने देश में पांव पसारने के बाद आरंभ में औरंगाबाद शहर में मरीज बड़ी संख्या में पाए जा रहे थे, परंतु अब शहर के साथ-साथ ग्रामीण क्षेत्र में बड़े पैमाने पर मरीज पाए जा रहे है. वर्तमान में जिले में कोरोना संक्रमित मरीजों का आंकड़ा 16 हजार पार कर चुका है. ऐसे में शहरी परिसर के तुलना में ग्रामीण परिसर में स्थानीय स्वराज्य संस्था सक्षम नहीं है. ऐसे में डीपीडीसी के  माध्यम से खर्च होनेवाला निधि यह प्राथमिकता से ग्रामीण परिसर में खर्च करें. यह मांग जिले के गंगापुर के भाजपा विधायक प्रशांत बंब ने पालकमंत्री सुभाष देसाई को एक ज्ञापन भेजकर की.

ज्ञापन में बंब ने बताया कि ग्रामीण  क्षेत्र में खरीफ मौसम को लेकर बड़े पैमाने पर खेतों में काम जारी है. कोरोना महामारी के बीच किसान अपने फसलों को बचाए रखने के लिए दिन-रात खेतों में काम कर रहे है. ऐसे में कोरोना विषाणु के खिलाफ जरुरी उपाय योजनाएं करने के लिए डीपीडीसी से ग्रामीण  क्षेत्र में उपाय योजनाएं करने के लिए बड़े पैमाने पर  निधि उपलब्ध कराया जाएं. 

कोरोना के लिए मनपा के कुल उत्पन्न में 20 % निधि हो आरक्षित 

विधायक बंब ने पालकमंत्री को बताया कि आरंभ में जिले का कुल जायजा लेने पर शहर में कोरोना संक्रमितों की संख्या अधिक थी इसलिए डीपीडीसी का अधिकतर निधि औरंगाबाद मनपा अंतर्गत खर्च किया गया. हाल ही में मनपा प्रशासन ने एक हजार करोड़ का बजट घोषित किया. बजट में कोविड-19 के लिए सिर्फ 6 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया. यह एक तरह से नागरिकों के साथ मजाक है. असलियत में मनपा प्रशासन ने 20 प्रतिशत निधि यानी कुल बजट में 200 करोड़ का निधि कोरोना महामारी का सामना करने के लिए आरक्षित रखकर जरुरी उपाय योजनाएं करें. 

 मनपा विशेष दल गठित करे

सोशल डिस्टेन्सिंग का पालन पर नजर रखने के लिए मनपा विशेष दल गठित करे. एंटीजन टेस्ट की संख्या और बढ़ाएं. प्लाज्मा थेरपी के बारे में जरुरी उपाय योजनाएं करें. शहर में और अधिक कोविड केयर  सेंटर स्थापित करने के आदेश मनपा कमिश्नर को दे. यह मांग विधायक प्रशांत बंब ने पालकमंत्री सुभाष देसाई को भेजे ज्ञापन में की.