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भंडारा (का). महाराष्ट्र सरकार की ओर से अमल में लायी जा रही महात्मा ज्योति बा फुले योजना के अंतर्गत जिन किसानों पर कर्ज था, उसे माफ कर दिया गया. जिस वक्त सरकार ने महात्मा ज्योति बा फुले योजना शुरु की, उस वक्त नियमित कर्ज भरने वाले किसानों को सरकार की ओर से 50 हजार रूपए का अनुदान देने की घोषणा भी की गई थी, लेकिन छह माह बीत जाने के बाद भी अभी तक नियमित कर्ज वापस करने वाले किसानों को 50 हजार रुपए की अनुदान राशि का भुगतान नहीं किया गया है.

कर्ज का भुगतान नियमित रूप से करने वाले किसानों को सरकार की ओर से प्रस्तावित की गई 50 हजार की अनुदान राशि के शीघ्र भुगतान करने की मांग मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से भंडारा के निवासी जिलाधिकारी शिवराज पडोले को दिए गए ज्ञापन के माध्यम से की गई है.

कोरोना महामारी के मद्देनज़र किसानों की हालत बहुत ही खराब हो गई है. जिस समय केंद्र सरकार की ओर से लॉकडाऊन की घोषणा की गई थी, उस वक्त किसानों को चना तथा गेहूं की फसल का नुकसान उठाना पड़ा था. कोरोना काल से थोड़ी राहत मिलने पर किसानों ने थोड़ी सी राहत महसूस की ही थी कि वैनगंगा नदी में आई भयंकर बाढ़ ने किसानों की हालत और ज्यादा खराब हो गई है.

वैनगंगा नदी में आई बाढ़ के कारण भंडारा जिले के धान उत्पादक किसानों की हालत  को और ज्यादा विदारक बना दिया है. बाढ़ के कारण किसानों का भविष्य अंधारमय हो गया है. सरकार ने काफी प्रचार करके महात्मा ज्योति बा फुले कर्ज माफी की घोषणा के साथ- साथ नियमित कर्ज भरने वाले किसानों को अनुदान के रूप में 50 हजार रूपए देने की घोषणा तो जरूर की लेकिन अभी तक सरकार की इस घोषणा की पूर्ति नहीं हुई है.