- गोसीखुर्द के बायी नहरों का अधूरा निर्माण
लाखांदूर. पूर्व विदर्भ के गोसीखुर्द बांध के बायी नहरों द्वारा पिछले 6 वर्षों से पवनी एवं लाखांदूर तहसील के चौरास क्षेत्र में सिंचाई के लिए पानी छोड़ा जा रहा है. किंतु प्रकल्प के तहत चौरास क्षेत्र में बायी नहरों का अधूरा निर्माण किए जाने से किसानों को सिंचाई में असुविधा होने का आरोप लगाया गया है.
तहसील के 37 गांवों में सिंचाई
गोसीखुर्द बायी नहरों के तहत लाखांदूर तहसील के चौरास क्षेत्र के कुल 37 गांवों को सिंचाई सुविधा उपलब्ध हो रही है. इस सिंचाई के तहत तहसील के भागडी, विरली (बू) एवं मासल आदी तीन राजस्व मंडलों के तहत 14,382 हे. क्षेत्र में सिंचाई की जाती है.
पिछले 6 वर्षों से छोड़ा जा रहा पानी
गोसीखुर्द बायी नहरों द्वारा चौरास क्षेत्र में खरीफ के दौरान पिछले 6 वर्षों से सिंचाई के लिए पानी छोड़ा जा रहा है. हालांकि यह पानी बायी नहर के प्रमुख नहर द्वारा उपलब्ध किया जाता है. किंतु प्रमुख नहरों से खेतों में उप नहर का निर्माण नहीं किए जाने से किसानों को खेतों में प्रत्यक्ष सिंचाई सुविधा उपलब्ध नहीं हो रही है.
बिजली पंप द्वारा नहरों के पानी की निकासी
खरीफ में सिंचाई के लिए बायी नहरों द्वारा पानी छोड़े जाने पर खेतों में उपनहरों का निर्माण नहीं किए जाने से किसानों द्वारा नहरों पर बिजली कृषि पंप द्वारा पानी की निकासी कर सिंचाई की जा रही है. हालांकि इस नहर के लाभक्षेत्र में अधिकांश किसान असिंचित खेती धारक होने से नहरों द्वारा उपलब्ध पानी की निकासी कर सिंचाई में परेशानी हो रही है.
तहसील में 50 पानी वापर संस्थाओं का निर्माण
गोसीखुर्द बायी नहरो द्वारा तहसील के चौरास क्षेत्र के भागडी, विरली (बू) एवं मासल आदि कृषी मंडलों के कुल 37 गांवों में सिंचाई सुविधा उपलब्ध होने के लिए कुल 50 पानी वापर संस्थाओं का निर्माण किया गया है. हालांकि इन संस्थाओं का निर्माण किए जाने के बावजूद अभी तक संस्थाओं को जलकर वसूली के अधिकार नहीं दिए जाने की जानकारी है.
2 जुलाई से छोड़ा जा रहा है पानी
इस वर्ष बारिश में अभी तक जोरदार बारिश नहीं होने के कारण चौरास क्षेत्र में पानी के अभाव में धान रोपाई अटकी थी. हालांकि इस क्षेत्र के कुछ पानी वापर संस्थाओं द्वारा धान रोपाई एवं सिंचाई के लिए नहरों में पानी छोड़ने की मांग की गई. 2 जुलाई से बायी नहरों में लगभग 100 क़्यूसेक पानी छोड़ा गया है. तहसील के भागडी, विरली (बू) एवं मासल क्षेत्र में लगभग 3.5 हजार हेक्टयर क्षेत्र में धान रोपाई पूरी की गई है.
पिछले 6 वर्षों में 1% जल कर वसूली
गोसीखुर्द बायी नहरों द्वारा पिछले वर्ष 2015 से खरीफ में चौरास क्षेत्र में सिंचाई सुविधा उपलब्ध की जा रही है. यह सुविधा बायी नहर प्रकल्प के 5 उपविभागों द्वारा उपलब्ध की जा रही है. लेकिन इस सुविधा के तहत लाभक्षेत्र के किसानों द्वारा अभी तक केवल 1 प्रतिशत जल कर जमा किया गया है. हालांकि यह वसूली न्यूनतम जल कर से भी कम होने से इस नहरों की देखभाल एवं दुरुस्ती के लिए म किसानों से जल कर का भुगतान करने का आह्वान इस प्रकल्प के कार्यकारी अभियंता मोरे ने किया है.