Unemployment
प्रतीकात्मक तस्वीर

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    भंडारा. सभी सरकारी निर्माण कार्यों में से 33 प्रतिशत कार्यों का वितरण जिले के सुशिक्षित बेरोजगार अभियंताओं के लिए करने का शासनादेश होने के बावजूद जिले के सभी सरकारी विभागों की ओर से आदेश का उल्लंघन किया जा रहा है. जिले के 600 पंजीकृत सुशिक्षित बेरोजगार अभियंता को काम नहीं मिलेगा.

    जिले में सुशिक्षित बेरोजगार अभियंताओं को पंजीकृत संख्या 500 से 600 के आसपास है. उनकी शिक्षा डिप्लोमा, बी.ई. सिविल, बी. टेक. तक हुई है. शिक्षित होने के बाद भी रोजगार न होने की स्थिति में सरकारी योजनाओं के आधार पर काम का पंजीयन कराया. राज्य सरकार के निर्णय के अनुसार 33 प्रतिशत काम सुशिक्षित बेरोजगार अभियंता, 33 प्रतिशत काम मजदूर सहकारी संस्था तथा 34 प्रतिशत काम खुली निविदा के माध्यम से कराए जाते हैं, लेकिन किसी भी विभाग के अधिकारी इस निर्णय का पालन नहीं कर रहे हैं.  इस वजह से पिछले कई वर्षों से सुशिक्षित बेरोजगार अभियंता को काम नहीं मिला.

     सार्वजनिक निर्माण कार्य विभाग (जिप), वन विभाग, कृषि विभाग, लघु सिंचाई विभाग (राज्य), लघु सिंचाई विभाग (जिप), स्वास्थ्य विभाग (निर्माण कार्य, जिप), इन सभी विभागों के काम वितरित करने के लिए सुशिक्षित बेरोजगारों के बारे में विचार ही नहीं किया जाता. सुशिक्षित बेरोजगारों की स्थिति चिंताजनक होने के बावजूद लाकडाउन के कारण उनकी हालत और ज्यादा खराब हुई.

    बदले हालातों में राज्य सरकार के निर्णय के आधार पर ठेकेदार काम वितरित करने के निर्देश जिलाधिकारी को सभी विभाग प्रमुखों को देने की मांग संजय नासरे, रवि मोकोडे, प्रसन्ना गुप्ता, आदेश मेश्राम, अक्षय कुकडकर, प्रतीक कलंबे, सुनील राखडे, जयंत धुलसे, दुर्वास कुकडे, गिरीश झंझाड ने की है.