ई-रुपी से लाभार्थी को 100 प्रतिशत लाभ सुनिश्चित हो सकेगा: उद्योग

    Loading

    नयी दिल्ली: भारतीय उद्योग जगत का मानना है कि व्यक्ति और उद्देश्य केंद्रित डिजिटल भुगतान समाधान ‘ई-रुपी’ से लक्षित लाभार्थी को पूरा लाभ सुनिश्चित हो सकेगा और उसमें किसी तरह की ‘अपवंचना’ नहीं हो सकेगी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को ई-रुपी की शुरुआत की। ई-रुपी को पारदर्शिता तथा लाभार्थी को लक्षित आपूर्ति के उद्देश्य से शुरू किया गया है। 

    पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के अध्यक्ष संजय अग्रवाल ने कहा कि यह देश के डिजिटलीकरण की प्रक्रिया के विस्तार की दृष्टि से एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने कहा कि आगे चलकर ई-रुपी से सरकार की विभिन्न योजनाएं जमीनी स्तर पर बेहतर हो सकेंगी। ‘‘इससे सामाजिक कल्याण योजनाओं की प्रक्रिया तेज और सुगम हो सकेगी तथा साथ ही इससे कॉरपोरेट सामाजिक दायित्व गतिविधियों में निजी क्षेत्र की दक्षता बढ़ेगी।” 

    इसी तरह की राय जताते हुए भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के अध्यक्ष टी वी नरेंद्रन ने कहा कि इस भुगतान तंत्र के जरिये सरकार नागरिकों को मौद्रिक समर्थन बिना मध्यवर्ती इकाइयों के प्रदान कर सकेगी। उन्होंने कहा कि वाउचर प्रणाली से सभी लाभार्थियों (फीचर फोन के प्रयोगकर्ताओं सहित) को लाभ होगा।

    यह कॉरपोरेट के लिए भी एक अच्छा माध्यम साबित होगा। सीआईआई के नामित अध्यक्ष संजीव बजाज ने कहा कि इससे किसी तरह की अपवंचना रुक सकेगी और लाभार्थियों को 100 प्रतिशत लाभ सुनिश्चित हो सकेगा। स्पाइस मनी के संस्थापक दिलीप मोदी ने कहा कि ई-रुपी से अरबों लोगों के हाथों में, विशेष रूप से आखिरी छोर तक प्रौद्योगिकी पहुंचेगी।