संक्रमण मुक्त, कम प्रभावित इलाकों में कारखानों में अधिक लोगों को काम की छूट मिले: पारले

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नयी दिल्ली. बिस्किट समेत अन्य खाद्य उत्पाद बनाने वाली कंपनी पारले प्रोडक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड ने बढ़ती मांग को पूरा करने के लिये संक्रमण से मुक्त तथा कम प्रभावित इलाकों में स्थित कारखानों में अधिक लोगों को काम करने की छूट देने की मांग की है। कंपनी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि बढ़ती मांग को पूरा कर पाना मुश्किल हो रहा है और बाजार में उत्पादों की कमी हो सकती है। ऐसे में संक्रमण से अप्रभावित तथा कम प्रभावित इलाकों में विशेषकर खाद्य उत्पाद बनाने वाली कंपनियों के कारखानों में अधिक लोगों को काम करने की छूट दी जानी चाहिये।

पारले प्रोडक्ट्स के वरिष्ठ श्रेणी प्रमुख मयंक शाह ने कहा कि कोरोनो वायरस महामारी की रोकथाम के लिये लागू लॉकडाउन के मद्देनजर कामगारों के बड़े पैमाने पर प्रवास के कारण श्रम की उपलब्धता अभी भी एक चुनौती है। ऐसे में सरकार को खाद्य कंपनियों को यह छूट देनी चाहिये कि सख्त मानक के तहत नियंत्रण या संक्रमण से प्रभावित क्षेत्रों से बाहर के कारखानों में 100 प्रतिशत तक कार्यबल का इस्तेमाल कर सकें।

शाह ने पीटीआई भाषा से कहा, “एक तरफ प्रवासी श्रमिक उपलब्ध नहीं हैं। कुछ क्षेत्रों में जैसे संक्रमण से अप्रभावित और कम प्रभावित क्षेत्रों में श्रम की उपलब्धता मुद्दा नहीं है। मुद्दा यह है कि सरकार ने 50 प्रतिशत से अधिक कार्यबल का उपयोग नहीं करने का निर्देश दिया है।” उन्होंने कहा कि संक्रमण से अप्रभावित तथा कम प्रभावित इलाकों में भी 50 प्रतिशत लोगों को ही काम पर बुलाने की बाध्यता के कारण कई कंपनियां फैक्ट्रियों में क्षमता बढ़ाने में असमर्थ हैं।

उन्होंने कहा, “यह पूरी तरह से ठीक भी है और हमें इससे कोई दिक्कत नहीं है, फिर भी हम सरकार से अनुरोध कर रहे हैं कम से कम खाद्य उद्योग में थोड़ी छूट देना शुरू कर दें क्योंकि यह कामगारों पर निर्भर उद्योग है।” शाह ने कहा, “50 प्रतिशत लोगों को ही काम पर बुलाने की बाध्यता के कारण हम अपनी उत्पादन क्षमता के लगभग 60-65 प्रतिशत पर काम कर रहे हैं। हम इस स्तर पर काम करना जारी रखेंगे, क्योंकि इससे आगे हम नहीं कर पाएंगे।”

उन्होंने कहा कि जब हमें अपनी क्षमता के 80, 90 या 100 प्रतिशत पर काम करने की अनुमति नहीं मिलती है, तो मांग के अनुसार उत्पाद नहीं मिल पायेंगे। उन्होंने कहा, ‘‘सिर्फ पारले के ही मामले में देखें तो हमारे कई उत्पाद सुबह में उपलब्ध होते हैं, लेकिन दोपहर या शाम होते-होते ये उत्पाद बाजार से गायब हो जाते हैं। ऐसा इस कारण हो रहा है क्योंकि बाजार में उत्पादों की कमी है।” (एजेंसी)