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  • रेड जोन से आने वालों ने बढाई प्रशासन की चिंता

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मूल. कोरोना वायरस संक्रमण की रोकथाम और प्रतिबंध के लिए मूल तहसील प्रशासन रात दिन प्रयासरत है. प्रशासन रात दिन बाहर से आने वालों को क्वारंटाइन की सलाह दे रहे है. किंतु रेड जोन से आने वाली छात्राएं और उनके अभिभावक चोरी छुपे रात में प्रवेश कर स्वयं को क्वारंटाइन करने में आनाकानी कर रहे है. इससे मूल प्रशासन का सिरदर्द बढ रहा है.

 दूसरे राज्य जिलों में फंसे प्रवासी मजदूर, विद्यार्थियों को उनके गृहग्राम, जिले में पहुंचाने के आदेश दिए है. यह आदेश जारी होते ही बाहर गांव शिक्षा के लिए गए विद्यार्थी अपन गृह्रग्राम लौटने लगे है. किंतु रेड जोन घोषित मुंबई, पुणे, औरंगाबाद, नांदेड, अमरावती, यवतमाल जिले से आ रहे है यह जिला रेड जोन में है. इसलिए वहां से आने वालों को स्वयं इंस्ट्टीयूशनल क्वारंटाइन करना आवश्यक है और इसकी संपूर्ण जवाबदारी माता, पिता, अभिभावकों की है. अन्यथा उनका सारा परिवार और परिसर के नागरिकों को खतरा हो सकता है. मूल तहसील प्रशासन दिन रात मेहनत कर रहा है.

इसलिए बाहर से आने वालों को क्वारंटाइन के आदेश जिले के पालकमंत्री विजय वडेट्टीवार और जिलाधीश डा. कुणाल खेमनार ने दिए है. यदि बाहर से आने वालों ने स्वयं को क्वारंटीन नहीं किया और कोरोना वायरस का संक्रमण वार्ड और शहर में हुआ तो तहसीत स्तर पर दिन रात मेहनत करने वाली सनियंत्रण समिति के पदाधिकारियों को जवाबदार ठहराने के आदेश है. इसलिए मूल तहसील और शहर में बाहर से आने वालों के लिए तहसील स्तर पर तैयार किए कर्मवीर महाविद्यालय मूल में इंस्ट्टीयूशनल क्वारंटीन सेंटर तैयार किया गया है. बाहर से आने वालों को यहां पंजीयन कराने की अपील की है. शहर की तुलना में ग्रामीण परिसर में क्वारंटीन में हरने वालों की संख्या अधिक दिखाई दे रही है.

कोरोना वायरस फिलहाल तो नष्ट होने वाला नहीं है इसलिए इसके साथ जीने की आदत डालने की अपील की जा रही है. सावधानी के साथ सभी को रहना होगा जैसा ही सोशल डस्टिन्सिंग, मास्क के साथ ही आगे का जीवन व्यतीत करना है. रोग का प्रतिकार करने के लिए शासन द्वारा समय समय पर दिए जाने वाले सुझाव का पालन करना होगा. इसलिए रेड जोन से आने वालों से सहयोग की अपील प्रशासन ने की है.