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    खड़गपुर. भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT), खड़गपुर वैश्विक स्तर पर अपना दायरा बढ़ाने की योजना के तहत मलेशिया में एक इंजीनियरिंग संस्थान की स्थापना करना चाहता है। संस्थान के निदेशक वीके तिवारी ने यह जानकारी दी। शनिवार को आईआईटी खड़गपुर के 68वें दीक्षांत समारोह में तिवारी ने कहा कि संस्थान का लक्ष्य दुनिया के शीर्ष 10 शैक्षणिक संस्थानों में शामिल होना है।

    उन्होंने बताया, “आईआईटी खड़गपुर का मकसद आईआईटी मलेशिया की स्थापना करके शिक्षा क्षेत्र में उत्कृष्टता के मामले में विश्वव्यापी मानक कायम करना है, जो संस्थान के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी उपस्थिति दर्ज कराने की दिशा में एक बड़ा कदम होगा।”

    हालांकि, तिवारी ने मलेशिया में नए इंजीनियरिंग संस्थान की स्थापना को लेकर कोई समयसीमा नहीं बताई, न ही यह जानकारी दी कि उक्त संस्थान किसी अन्य संस्थान के साथ संयुक्त उपक्रम तो नहीं होगा। उन्होंने बताया कि आईआईटी खड़गपुर ने अपने कर्मचारियों और शोधकर्ताओं द्वारा किए गए 75 नवाचारों पर आधारित शोध पत्रों का संग्रह तैयार किया है।

    पिछले दो वर्षों में आईआईटी खड़गपुर में हुए नवाचारों की सफलता की कहानी बयां करते हुए तिवारी ने कहा कि कोरोना वायरस संक्रमण की जांच के लिए बनाई गई ‘कोविरैप’ किट 6.7 करोड़ रुपये में बेची गई थी, जबकि कई अन्य नए उपकरणों ने एक करोड़ रुपये से अधिक की कमाई की। तिवारी ने कहा, “हम 25 चिन्हित नवाचारों का समर्थन कर रहे हैं।”

    उन्होंने कहा, “विनोद गुप्ता से लेकर सुंदर पिचई तक आईआईटी खड़गपुर के कई पूर्व छात्रों, जिनकी संख्या हजारों में है, ने संस्थान को गौरवान्वित महसूस कराया है।” दीक्षांत समारोह में संस्थान के नौ लाइफ फेलो सहित 40 विशिष्ट पूर्व छात्रों को सम्मानित किया गया। नौ छात्रों को उनके अध्ययन के संबंधित क्षेत्रों में स्वर्ण पदक भी प्रदान किए गए।