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    पोर्टो (पुर्तगाल). काई हावर्ट्ज के गोल की मदद से चेल्सी ने अपने चिर प्रतिद्वंद्वी मैनचेस्टर सिटी को 1—0 से हराकर चैंपियन्स लीग फुटबॉल टूर्नामेंट का खिताब जीता। चेल्सी ने चैंपियन्स लीग में अपना पहला खिताब नौ साल पहले जीता था। उसके बाद अब जाकर उसे सफलता मिली है। उसने नये कोच थामस टचेल के सत्र के बीच टीम से जुड़ने के 123 दिन बाद यह सफलता हासि​ल की है।     

    विश्व की सबसे प्रमुख क्लब प्रतियोगिता में सिटी और उसके कोच पेप गार्डियोला को आखिर में निराशा हाथ लगी। गार्डियोला दुनिया के नामी गिरामी कोच हैं लेकिन उनका रणनीति पर जरूरत से ज्यादा ध्यान देने से टीम को फिर से नुकसान हुआ। जर्मनी के फारवर्ड हावर्ट्ज ने 42वें मिनट में गोल किया जो इंग्लैंड की दो टीमों के बीच खेले गये चैंपियन्स लीग के तीसरे फाइनल में चेल्सी जीत दर्ज करने में सफल रहा।   

    हावर्ट्ज के लिये भी यह गोल बेहद महत्वपूर्ण है क्योंकि लगभग 10 करोड़ डालर का करार करने के बाद वह सत्र के बीच में कोरोना वायरस से संक्रमित हो गये थे। उन्होंने इस बीमारी से उबरने के बाद सत्र के आखिर में चेल्सी की तरफ से अहम भूमिका निभायी। हावर्ट्ज ने बाद में कहा, ”मैं वास्तव में नहीं जानता कि क्या कहना है। मैं लंबे समय से इस अवसर की तलाश में था।” इस मैच को दुनिया के दो प्रमुख कोच टचेल और गार्डियोला के बीच रणनीति​क द्वंद्व के रूप में भी देखा जा रहा था। टचेल आखिर में इसमें विजेता रहे। गार्डियोला ने सिटी को फाइनल में पहुंचाने वाली टीम में बदलाव किया जो उन्हें भारी पड़ा। इस हार से सिटी खिताबी हैट्रिक भी नहीं बना पाया। उसने इस सत्र में प्रीमियर लीग और इंग्लिश लीग कप का खिताब भी जीता था।