बारिश की फुआंरे, किसानों को कैसे उभारे

  • मुरझाती फसलों को मिली संजिवनी, मगर किसानों की मुश्किले कम नहीं

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गडचिरोली. इस वर्ष अबतक आवश्यक मात्रा में बारिश नहीं होने से किसान चिंताग्रस्त हुए है. सावन मास बितने को आया है, मगर अबतक सावन झडी नजर नहीं आने से प्रकृति का कालचक्र बदलने की बाते शुरू हो गई है. इस बिच शनिवार की देररात से रिमझीम बारिश की झडी शुरू हुई. आज रविवार का दिन भी बदरिला रहा, कुछ जगह बारिश की फुंआरे दिखाई दी. मात्र बारिश की रफ्तार में तेजी नहीं आने से किसानों की मुश्किलों में कमी नहीं आयी है. यह रिमझीम बारिश केवल मुरझाति फसलों को कुछ समय के लिए जिवीत रखने में ही सहाय्य होगी, किंतू इस बारिश का किसानों को व्यापक लाभ नजर नहीं आ रहा है. जिले में सुखे अकाल का संकट अब भी मंडरा रहा है. किसानों को अब भी धुआंधार बारिश का इंतजार होकर किसानों की नजरे आसमान पर ही टिकी नजर आ रही है. 

पूर्व विदर्भ में अतिवृष्टि की चेतावनी
मौसम विभाग द्वारा आगामी दिनों में पूर्व विदर्भ के जिलों में अतिवृष्टि की चेतावनी दी है. मात्र गडचिरोली जिले में अबतक रिमझीम बारिश का ही नजारा दिखाई दे रहा है. शनिवार को को देररात आरंभ हुई वर्षा आज रविवार को दिनभर जारी थी. मात्र बारिश की गति धिमी होने के चलते खेतीकार्यो में भी कोई तेजी नहीं आयी है. बतां दे कि, इस वर्ष मौसम विभाग ने अनेक बार बारिश व अतिवृष्टि की चेतावनी दी थी. किंतू जिले के प्रति इंद्रदेवता का रूखापन जारी है. फलस्वरूप अबतक धुआंधार बारिश नहीं होकर मौसम विभाग के अनुमान जिले में विफल नजर आता दिखाई पड रहा है. मात्र इस बार मौसम विभाग का अनुमान सहीं साबित हो, ऐसी आंस किसान लगा रहे है.

जिले में 20.1 मिमी बारिश
बिते 24 घंटे में जिले में सर्वत्र रिमझीम बारिश दर्ज की गई. जिसके तहत आज रविवार को जिले में औसतन 20.1 मिमी बारिश हुई है. जिसमें कुरखेडा तहसील में सर्वाधिक 44. 1 मिमी बारिश हुई. देसाईगंज में 41.0, धानोरा में 33.3 मिमी, कोरची 31.7 मिमी, आरमोरी 19.2 मिमी, गडचिरोली 12.6 मिमी, सिरोंचा 15.2 मिमी, अहेरी 9.1 मिमी, एटापल्ली 15 मिमी, चामोर्शी 5 मिमी, भामरागढ 10.2 मिमी, मुलचेरा में सबसे कम 4.4 मिमी बारिश दर्ज की गई. 

गोसेखुर्द के खोले गए 25 गेट
पूर्वी विदर्भ में हो रही बारिश के चलते भंडारा जिले में वैनगंगा नदी पर स्थित गोसेखुर्द बांध का जलस्तर बढ गया है. जिसके कारण बांध के 25 गेट आधे मिटर से खोले गए है. जिससे बांध में से 2776 क्युमेक्स पानी का विसर्ग हो रहा है. इस कारण वैनगंगा नदी का जलस्तर बढने की संभावना व्यक्त की जा रही है. जिससे वैनगंगा व उसके उपनदी तट पर के नागरिकों को प्रशासन ने सतर्कता की चेतावनी दी है.