Farmers waiting for rain, farmers outraged by pest infestation on crops
Representational Photo

Loading

गोंदिया. मृग नक्षत्र की शुरुआत होने के बाद 17 दिन बीत गए है. फिर भी जिले में अब तक जोरदार बारिश नही हुई है. जिससे किसानों की नजर आसमान की ओर लगी है. वहीं कुछ किसानों ने मृग में थोडी बहुत बारिश होने पर धान की नर्सरी डाली थी. लेकिन बारिश नही होने से जिले के हजारों हेक्टर में धान की नर्सरी पर संकट मंढरा रहा है. आगामी दो तीन दिनों में अच्छी बारिश होने पर किसानों पर पुन: बुआई करने की संभावना से इन्कार नही किया जा सकता है. जिससे किसानों में चिंता का वातावरण है.

जिले में इस बार खरीफ मौसम में कुल 1 लाख 99 हजार हेक्टर क्षेत्र में विभिन्न फसलों की बुआई की जाएगी. इसमें सबसे अधिक 1 लाख 89 हजार हेक्टर क्षेत्र धान का है. जिले के किसान पिछले दोतीन वर्षो से अकाल की परिस्थिति का सामना कर रहे है. इसी में मौसम परिवर्तन का परिणाम खेती पर तेजी से हो रहा है. जिससे उत्पादन में भी कमी हो रही है.

7 जून से मृग नक्षत्र की शुरुआत हुई है. इसके शुरुआत में ही जिले के कुछ क्षेत्रों में बारिश ने उपस्थिति दर्ज करा दी. जिससे किसानों ने भी धान की नर्सरी डालने की शुरुआत कर दी. जिन किसानों के पास सिंचाई की सुविधा है उन किसानों ने पूर्व ही धान की नर्सरी डाली. लेकिन पखवाडे भर से बारिश गायब है.

बारिश के अभाव में नर्सरी सूख रही है. इस संबंध में जिला अधीक्षक कृषि अधिकारी गणेश घोरपडे़ ने बताया कि नर्सरी व बुआई की दृष्टि से फिलहाल पानी की आवश्यकता है. मौसम विभाग ने सोमवार से जोरदार बारिश होने की संभावना व्यक्त की है.जिससे बारिश होने पर निश्चित ही किसानों को राहत मिलेगी.