अहमदाबाद. गुजरात सरकार (Gujarat Government) ने गुजरात धर्म की स्वतंत्रता (संशोधन) विधेयक, 2021 (Freedom of Religious Reform (Amendment) Bill, 2021) को 15 जून से लागू करने का निर्णय लिया है। इसके तहत शादी के जरिए जबरन धर्म परिवर्तन (forced conversion) कराने पर सख्त सजा का प्रावधान रखा गया है। मुख्यमंत्री कार्यालय के एक अधिकारी ने बताया कि मुख्यमंत्री विजय रूपाणी (Chief Minister Vijay Rupani) ने विधेयक को लागू करने का निर्णय लिया है। 15 जून से यह विधेयक कानून बन जाएगा।
विधेयक को राज्य विधान सभा ने 1 अप्रैल को बहुमत से पारित किया था और इसे गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत ने मई में मंजूरी दे दी थी। सरकार के अनुसार गुजरात धर्म की स्वतंत्रता (संशोधन) विधेयक,2021 के जरिए ‘ धर्म परिवर्तन कराने के उद्देश्य से महिलाओं को शादी के जाल में फंसाने के उभरते चलन पर’ रोक लगायी जाएगी।
इस विधेयक के माध्यम से 2003 के कानून में संशोधन किया गया है, जिसमें जबरदस्ती या प्रलोभन देकर धर्म परिवर्तन कराने पर सजा का प्रावधान है। संशोधन के अनुसार ‘विवाह द्वारा धर्म परिवर्तन या किसी व्यक्ति की शादी कराना, या ऐसी किसी शादी में सहायता करने पर’ तीन से पांच साल की कैद और दो लाख रुपये तक के जुर्माने का प्रावधान है। अगर पीड़ित नाबालिग, महिला या दलित या जनजाति समुदाय की है तो दोषी को चार से सात साल की सजा हो सकती है और तीन लाख रुपये से कम का जुर्माना नहीं होगा। (एजेंसी)