दीपावली में खरीद रहे हैं बर्तन तो ध्यान रखें धातुओं का, रहेंगे सेहतमंद

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आज के दौर में स्वस्थ रहना किसी चुनौती से काम नहीं है। वातावरण, हमारा खानपान और हमारा लाइफस्टाइल पर निर्भर करता है हमारी सेहत। जितना ज़रूरी हमारा खानपान है, उतना ही ज़रूरी है ये जानना की हम किस बर्तन में खा रहे हैं या पका रहे हैं। जिसे अक्सर लोग नज़रअंदाज़ कर देते हैं। अलग-अलग धातुओं से बने बर्तन के अलग-अलग फायदे होते हैं और कुछ के तो नुकसान भी होते हैं। वहीं जब इन बर्तनों में खाना पकाया जाता है या उसमें रखकर खाया जाता है, तो उन धातु का असर पूरे शरीर पर होता है। तो ऐसे में इस दिवाली खरीदारी करते समय ध्यान रखें कि आप किस धातु का बर्तन खरीद रहे हैं। इसलिए आज हम आपको बता रहे हैं एक्सपर्ट्स के अनुसार किस धातु के क्या हैं फायदे…

चांदी:

चांदी का बर्तन बहुत शुभ माने जाते हैं। इसमें अगर आप पानी पीते हैं तो यह आपको रोगों से लड़ने की क्षमता को बढ़ाता है।

क्यों ज़रूरी: चांदी का सम्बंध दिमाग से है, साथ ही यह शरीर के पित्त को भी नियंत्रित करती है। चांदी के बर्तन में खासतौर से छोटे बच्चों को ज़रूर खिलाना, पिलाना चाहिए। यह उनका दिमाग तेज़ करने के मदद करता है। इसकी प्रकृति शरीर को ठंडा रखती है। इसके अलावा इस धातु से बने बर्तन में भोजन खाने से तन और मन को शांति मिलती है। यह धातु 100 फीसदी बैक्टीरिया फ्री होती है, इसलिए यह इंफेक्शन से भी बचाती है। साथ यह इम्युनिटी बढ़ाने में भी मददगार साबित होता है।

ध्यान रखें– चांदी के बर्तन में खाने के कोई नुकसान नहीं हैं। 

सोना:

सोने के बर्तन में खाना रखकर खाने या पानी पिने से हमारी आंखों की रोशनी बढ़ती है। साथ ही यह स्किन की चमक को भी बढ़ाता है।

क्यों ज़रूरी: सोने की तासीर गर्म होती है, लेकिन महंगी होने के कारण लोग इसका काम ही इस्तमाल करते हैं। तासीर गर्म होने के कारण लोग इस धातु के बर्तन का उपयोग ज़्यादातर सर्दियों में ही करते हैं और यह ज़्यादा फायदा भी इसी मौसम में पहुंचाता है। शरीर के अंदरूनी और बाहरी दोनों हिस्सों में इसका असर दिखता है। सोना शरीर को मजबूत बनाने के साथ आंखों की रोशनी बढ़ाता है और त्वचा को चमकदार भी बनता है। 

स्टील:

स्टील एक ऐसा धातु है, जिससे न तो कोई नुकसान होता है और न ही कोई फ़ायदा।

क्यों ज़रूरी: स्टील के बर्तन हर घर में उपयोग किए जाते हैं। सस्ते और आसानी से उपलब्ध होने के कारण इनका चलन बहुत अधिक है। इनमें खाना बनाने या खाने से शरीर पर खास फर्क नहीं पड़ता। स्टील के बर्तन ना ही गर्म होने पर क्रिया करते है और ना ही अम्ल से, इसलिए यह सुरक्षित और किफायती होते हैं।

मिट्टी के बर्तन:

मिट्टी के बर्तन में बना खाना पेट के रोग दूर करता है।

क्यों ज़रूरी: अगर मिट्टी के बर्तन में खाना बनाकर पेट के रोगियों को दिया जाए तो यह उनके लिए बहुत फायदेमंद साबित हो सकता है। मिट्टी के बर्तन में खाना पकाने से इसके पोषक तत्व खत्म नहीं होते हैं बल्कि यह भोजन को पौष्टिक बनाए रखने में मदद करते हैं। गर्मियों में मिट्टी के बर्तनों रखा पानी पीने से पाचन बेहतर होता है।

ध्यान रखें- कई बार मिट्टी के बर्तनों को खूबसूरत बनाने के लिए इसमें पेंट कर दिया जता है या चिकनी मिट्टी की मिलावट की जाती है, जो हानिकारक भी होते हैं। 

तांबा:

तांबा हमारे हेल्थ के लिए बहुत फायदेमंद होता है। इसके बर्तन में 8 घंटे रखा पानी किडनी, लिवर और पेट के लिए बहुत फायदेमंद होता है।

क्यों ज़रूरी: आयुर्वेद के अनुसार, तांबा शरीर के वात, कफ और पित्त दोष को संतुलित करता है। यह धातु पानी के बैक्टीरिया को खत्म करता है और इसे शुद्ध करता है। साथ ही यह शरीर से फैट को कम करता है और रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। तांबे के बर्तन में रखा पानी पेट, किडनी और लिवर पर खास असर करता है। इसके अलावा यह तांबा वजन नियंत्रित करने में भी लोगों की मदद करता है।

ध्यान रखें: तांबे के बर्तन में दूध कभी ना पिएं और न ही रखें। इसकी प्रकृति दूध को विषैला बना देती है।

एल्युमिनियम:

एल्युमिनियम के बर्तनों में न कभी खाना बनाएं और ही कभी खाएं। यह हेल्थ के लिए अच्छा नहीं होता है।

क्यों ज़रूरी नहीं: एल्युमिनियम धातु से बने बर्तन खाना खाने और पकाने दोनों के लिए लाभदायक नहीं होते हैं। क्यूंकि यह बॉक्साइट का बना होता है। इसमें बना खाना शरीर को नुकसान पहुंचाता है। इसमें पकाया गया खाना अपने पोषण तत्व को खत्म कर देता है। जिससे हड्डियां कमज़ोर होने लगती हैं। इसके अलावा अस्थमा, डायबिटीज़ जैसी बीमारियां भी होने का खतरा बना रहता है।

लोहे के बर्तन:


लोहे के बर्तन में अगर आप खाना पकाते हैं तो, यह आपके शरीर में आयरन की कमी को पूरा करता है। 

क्यों ज़रूरी: लोहे के बर्तन भी आपको बहुत से लोगों के घर में दिख ही जाएंगे। क्यूंकि यह आसानी से उपलब्ध होते हैं। यह आपके शरीर में आयरन की कमी को पूरा करने का काम करते हैं। लोहे की कढ़ाही में बना खाना खासतौर पर महिलाओं को खाना चाहिए क्योंकि आयरन की कमी के मामले इनमें अधिक देखे जाते हैं। खासतौर से हरी सब्ज़ियां लोहे के बर्तनों में ही पकानी चाहिए। इसमें तैयार खाना शरीर का पीलापन और सूजन दूर करता है। साथ ही इसमें दूध पीना भी फायदेमंद है।ध्यान रखें : इसमें खाना बनाएं लेकिन खाने के लिए लोहे के बर्तनों का प्रयोग न करें।