कोलकाता: पश्चिम बंगाल (West Bengal) की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) ने शुक्रवार को पश्चिम मेदिनीपुर जिले के कलाईकुंडा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) से मुलाकात की और राज्य में चक्रवाती तूफान ‘यास’ (Cyclone Yaas) से हुए नुकसान पर एक प्रारंभिक रिपोर्ट सौंपी। एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी। प्रधानमंत्री मोदी चक्रवात के बाद की स्थिति की समीक्षा करने के लिए दिन में पहले ओडिशा (Odisha) गए, और फिर पश्चिम बंगाल आये। अधिकारी ने बताया कि दोनों नेताओं के बीच यह बैठक लगभग 15 मिनट चली। उन्होंने कहा, ‘‘मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री मोदी को राज्य के सबसे ज्यादा प्रभावित क्षेत्रों की स्थिति से अवगत कराया है।”
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चक्रवाती तूफान ‘‘यास” से प्रभावित ओडिशा और पश्चिम बंगाल के विभिन्न इलाकों दौरे पर हैं। पीएम दोनों ही राज्यों में यास से हुए नुकसान की समीक्षा कर रहे हैं। प्रधानमंत्री सबसे पहले ओडिशा पहुंचे थे। इसके बाद पश्चिम बंगाल पहुंचे।
यास से हुआ 15 हजार करोड़ रुपये का नुकसान: सीएम ममता बनर्जी
चक्रवातीय तूफान ‘यास’ द्वारा पश्चिम बंगाल में तबाही मचाए जाने पर पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने गुरुवार को कहा कि, त्रासदी में राज्य को करीब 15 हजार करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। साथ ही उन्होंने प्रभावितों को राहत के लिए ‘दुआरे तारन’ (घर-घर जाकर राहत पहुंचाने का) अभियान शुरू किया। बनर्जी ने चक्रवात प्रभावित क्षेत्र में राहत कार्यों के लिए 1,000 करोड़ रुपये आवंटित करते हुए कहा कि, जरुरत होने पर और धन दिया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘शुरुआती सूचनाओं के अनुसार, हमें पता चला है कि पश्चिम बंगाल में कुल करीब 15,000 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। इसके बढ़ने की आशंका है।” उन्होंने कहा, ‘‘हमें जमीनी स्तर पर सर्वेक्षण करने की आवश्यकता है क्योंकि ज्यादातर स्थान पानी में डूबे हुए हैं। इसमें (वित्तीय आकलन में) अभी कुछ समय लगेगा।”
145 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तूफानी हवाएं चलने से कई मकान क्षतिग्रस्त
चक्रवाती तूफान ‘यास’ के बुधवार को देश के पूर्वी तटों से टकराने के बाद भारी बारिश हुई। चक्रवात के दौरान 145 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तूफानी हवाएं चलने से कई मकान क्षतिग्रस्त हो गये, खेतों में पानी भर गया। चक्रवात से जुड़ी घटनाओं में चार लोगों की मौत हो गयी जबकि इसके कारण ओडिशा, पश्चिम बंगाल ओर झारखंड में 21 लाख से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया। ‘ताउते’ के बाद एक सप्ताह के भीतर देश के तटों से टकराने वाला ‘यास’ दूसरा चक्रवाती तूफान है।