PM मोदी: हमें संकल्प लेना होगा India First का
हमें संकल्प लेना है...
ये संकल्प हो India First का।
हम सिर्फ और सिर्फ भारत की उन्नति, भारत के विकास को ही अपनी आराधना बना लें।
हमारा हर फैसला देश की ताकत बढ़ाए।
हमारा हर निर्णय, हर फैसला, एक ही तराजू में तौला जाए।
और वो है- देश का हित सर्वोपरि।#NewParliament4NewIndia pic.twitter.com/aDpViGmFcs— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
राष्ट्र के विकास के लिए राज्य का विकास, राष्ट्र की मजबूती के लिए राज्य की मजबूती, राष्ट्र के कल्याण के लिए राज्य का कल्याण।
इस मूलभूत सिद्धांत के साथ काम करने का हमें प्रण लेना है।
- पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
भारत की एकता-अखंडता को लेकर किए गए उनके प्रयास, इस मंदिर की प्राण-प्रतिष्ठा की ऊर्जा बनेंगे।
जब एक-एक जनप्रतिनिधि, अपना ज्ञान, बुद्धि, शिक्षा, अपना अनुभव पूर्ण रूप से यहां निचोड़ देगा, उसका अभिषेक करेगा, तब इस नए संसद भवन की प्राण-प्रतिष्ठा होगी।#NewParliament4NewIndia pic.twitter.com/Okl4KNLs0C— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
हमारा हर फैसला राष्ट्र प्रथम की भावना से ही होना चाहिए।
हमारे हर फैसले में राष्ट्रहित सर्वोपरि रहना चाहिए।
राष्ट्रीय संकल्पों की सिद्धि के लिए हम एक स्वर में खड़े हों , ये बहुत जरूरी है।
- पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
और क्या कहा PM मोदी ने
Policies में अंतर हो सकता है, भिन्नता हो सकती है।
लेकिन हम Public की सेवा के लिए हैं, इस अंतिम लक्ष्य में कोई मतभेद नहीं होना चाहिए।
वाद-संवाद संसद के भीतर हों या संसद के बाहर,
राष्ट्रसेवा का संकल्प, राष्ट्रहित के प्रति समर्पण लगातार झलकना चाहिए।#NewParliament4NewIndia pic.twitter.com/9KUEjSitLy— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
भारत में लोकतंत्र, हमेशा से ही गवर्नेंस के साथ ही मतभेदों को सुलझाने का माध्यम भी रहा है।
Differences के लिए हमेशा जगह हो लेकिन disconnect कभी न हो, इसी लक्ष्य को लेकर हमारा लोकतंत्र आगे बढ़ा है।
- पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
हम गर्व से कह सकते हैं कि हमारे देश ने उन आशंकाओं को न सिर्फ गलत साबित किया, बल्कि 21वीं सदी की दुनिया भारत को अहम लोकतांत्रिक ताकत के रूप में आगे बढ़ते देख रही है: पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia pic.twitter.com/sgrfSD2Hbs
— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
आजादी के समय किस तरह से एक लोकतांत्रिक राष्ट्र के रूप में भारत के अस्तित्व पर संदेह जताया गया था।
अशिक्षा, गरीबी, सामाजिक विविधता सहित कई तर्कों के साथ ये भविष्यवाणी कर दी गई थी कि भारत में लोकतंत्र असफल हो जाएगा।
- पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
भारत के लिए लोकतंत्र जीवन मूल्य है, जीवन पद्धति है, राष्ट्र जीवन की आत्मा है।
भारत का लोकतंत्र, सदियों के अनुभव से विकसित हुई व्यवस्था है।
भारत के लिए लोकतंत्र में, जीवन मंत्र भी है, जीवन तत्व भी है और साथ ही व्यवस्था का तंत्र भी है।#NewParliament4NewIndia— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
जैसे आज इंडिया गेट से आगे नेशनल वॉर मेमोरियल ने नई पहचान बनाई है, वैसे ही संसद का नया भवन अपनी पहचान स्थापित करेगा।
आने वाली पीढ़ियां नए संसद भवन को देखकर गर्व करेंगी कि ये स्वतंत्र भारत में बना है। आजादी के 75 वर्ष का स्मरण करके इसका निर्माण हुआ है।#NewParliament4NewIndia pic.twitter.com/KwYerGuqYv— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
पुराने संसद भवन ने स्वतंत्रता के बाद के भारत को दिशा दी, तो नया भवन आत्मनिर्भर भारत के निर्माण का गवाह बनेगा।
पुराने भवन में देश की आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए काम हुआ, तो नए भवन में 21वीं सदी के भारत की आकांक्षाएं पूरी की जाएंगी।
- पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
भारत का लोकतंत्र से हमेशा रहा एक पुराना रिश्ता
PM मोदी ने बताया कि, आज देश में हमारा लोकतंत्र क्यों सफल है. दुनिया में 13वीं शताब्दी में मैग्नाकार्टा से पहले ही 12वीं शताब्दी में भगवान बसवेश्वर ने लोकसंसद की शुरुआत कर दी थी." PM मोदी ने बताया कि, "दसवीं शताब्दी में तमिलनाडु के एक गांव में पंचायत व्यवस्था का वर्णन है. उस गांव में आज भी वैसे ही महासभा लगती है, जो एक हजार साल से जारी है. तब भी नियम था कि अगर कोई प्रतिनिधि अपनी संपत्ति का ब्यौरा नहीं देगा तो वो और उसके रिश्तेदार चुनाव नहीं लड़ पाएंगे."
क्या-क्या कहा अब तक PM मोदी ने
वर्षों से नए संसद भवन की जरूरत महसूस की गई है।
ऐसे में हम सभी का दायित्व है कि 21वीं सदी के भारत को एक नया संसद भवन मिले। इसी कड़ी में ये शुभारंभ हो रहा है।
- पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
संसद के शक्तिशाली इतिहास के साथ ही यर्थाथ को स्वीकारना उतना ही आवश्यक है।
ये इमारत अब करीब 100 साल की हो रही है। बीते वर्षों में इसे जरूरत के हिसाब से अपग्रेड किया गया।
कई नए सुधारों के बाद संसद का ये भवन अब विश्राम मांग रहा है।
- पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia pic.twitter.com/cvzoVWOdw8— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
हमारे वर्तमान संसद भवन ने आजादी के आंदोलन और फिर स्वतंत्र भारत को घड़ने में अपनी अहम भूमिका निभाई है।
आजाद भारत की पहली सरकार का गठन भी यहीं हुआ और पहली संसद भी यहीं बैठी।
- पीएम @narendramodi #NewParliament4NewIndia— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
PM मोदी: इस संसद भवन ने कई ख़ास मौके देखे
PM मोदी ने यह भी कहा कि, "मैं वो पल कभी नहीं भूल सकता, जब मैं पहली बार 2014 में संसद भवन में आया था तब मैंने सिर झुकाकर नमन किया था. मौजूदा संसद भवन ने आजादी का आंदोलन, स्वतंत्र भारत, आजाद सरकार की पहली सरकार, पहली संसद, संविधान आदि कई मील के पत्थर देखे हैं.
मैं अपने जीवन में वो क्षण कभी नहीं भूल सकता जब 2014 में पहली बार एक सांसद के तौर पर मुझे संसद भवन में आने का अवसर मिला था।
तब लोकतंत्र के इस मंदिर में कदम रखने से पहले, मैंने सिर झुकाकर, माथा टेककर, लोकतंत्र के इस मंदिर को नमन किया था: पीएम #NewParliament4NewIndia pic.twitter.com/HDsEt9iKKv— BJP (@BJP4India) December 10, 2020
PM मोदी ने शुरू किया पाना संबोधन
आज PM मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि, " आज का दिन बड़ा ऐतिहासिक है और मील का पत्थर साबित होगा. देश में अब भारतीयता के विचारों के साथ नई संसद भी बनने जा रही है, हम देशवासी मिलकर संसद के इस नए भवन को बनाएंगे. जब भारत अपनी आजादी के 75वें साल का जश्न मनाएगा, तब संसद की यह इमारत उसकी प्रेरणा होगी."
#WATCH Live from Delhi: PM Modi lays foundation stone of New Parliament Building https://t.co/BRwhufPecZ
— ANI (@ANI) December 10, 2020
हरदीप पुरी ने किया सम्बोधन
केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी ने आज अपने संबोधन में कहा कि आज का दिन भारत ही नहीं बल्कि दुनिया के इतिहास में बहुत ही अहम है. हिंदुस्तान में गणतंत्र और लोकतंत्र बहुत लंबे वक्त से स्थापित है.
विभिन्न बड़े विदेशी राजनयिक हुए डिजिटली शामिल
Prime Minister Narendra Modi unveils a plaque to mark the foundation stone laying ceremony of New Parliament Building in Delhi pic.twitter.com/k7eYzd0cey
— ANI (@ANI) December 10, 2020
#WATCH Live from Delhi: PM Modi lays foundation stone of New Parliament Building https://t.co/BRwhufPecZ
— ANI (@ANI) December 10, 2020
Congrats to #India and all #Indians - a new foundation for the World’s largest democracy https://t.co/P1QKB3LC5R
— daikanyama (@svane_freddy) December 10, 2020
आज हुई सर्वधर्म प्रार्थना
PM नरेंद्र मोदी ने आज गुरुवार को नए संसद भवन की आधारशिला रखी. इस दौरान एक सर्वधर्म प्रार्थना भी की गई, इसमें हिन्दू, सिख, ईसाई, मुस्लिम, बौद्ध, जैन एवं अन्य धर्मों के धर्मगुरु भी मौजूद थे, जिन्होंने यह प्रार्थना की.
कार्यक्रम में मौजूद हैं कई ख़ास मेहमान
Delhi: Union Home Minister Amit Shah, Defence Minister Rajnath Singh, Union Minister Ravi Shankar Prasad, foreign Envoys and Lok Sabha Speaker Om Birla also present at the foundation stone laying ceremony of the new Parliament building. pic.twitter.com/DnkranVSuY
— ANI (@ANI) December 10, 2020
नयी दिल्ली. आज विश्व के सबसे बड़े लोकतंत्र के मंदिर ‘संसद भवन’ (Parliament House) के लिए एतिहासिक दिन है। आज देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) संसद की नई बिल्डिंग का भूमिपूजन करेंगे, जो 2022 में बनकर खड़ी होगी। ख़बरों के अनुसार आज दोपहर 1 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) इस कार्य का भूमिपूजन करेंगे करेंगे। इस प्रोजेक्ट पर 865 करोड़ रुपए का विशाल बजट भी रखा गया है।इस प्रोजेक्ट का का नाम ‘सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट’ नाम दिया गया है।
PM to lay foundation stone of New Parliament Building on 10th December 2020. https://t.co/Udp25Gzglm
via NaMo App pic.twitter.com/HLgNqTZZo2
— PMO India (@PMOIndia) December 9, 2020
गौरतलब है कि लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने इसके पहले बताया था कि नए संसद भवन का भूमिपूजन आने वाले 10 दिसंबर को दोपहर 1 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा किया जाएगा। ओम बिरला ने खुद PM मोदी के आवास पर पहुंचउन्हें भूमि पूजन कार्यक्रम में मुख्य अतिथि बनने के लिए आमंत्रित भी किया था ।
इधर नए पार्लियामेंट हाउस की डिजाइन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी राय रखते हुए कहा था कि नया परिसर कामकाजी लोगों और आम लोगों के इस्तेमाल के लिए आसान होना चाहिए और संसद की सभी जरूरतों को पूरा करने वाली हो। उनका यह भी कहना था कि सुरक्षा के इंतजाम भी ऐसे किये जाएँ कि आम लोग भी बिल्डिंग में आसानी से प्रवेश ले सकें और उन्हें डर का एहसास भी न हो।