वाराणसी: वाराणसी के ज्ञानवापी-श्रृंगार गौरी मामले में बृहस्पिवार को निर्णय सुनाने वाले दीवानी अदालत के न्यायाधीश रवि कुमार दिवाकर ने कहा कि फैसला सुनाए जाने के दौरान उनका परिवार उनकी सुरक्षा को लेकर बहुत चिंतित था। न्यायाधीश दिवाकर ने बृहस्पतिवार को अपने आदेश में कहा कि इस मामले को असाधारण मामला बनाकर भय का माहौल बनाया गया है।
उन्होंने कहा, ‘‘इस दीवानी मामले को असाधारण मामला बनाकर भय का माहौल पैदा कर दिया गया है। डर इतना है कि मेरा परिवार मेरी सुरक्षा को लेकर चिंतित रहता है और मैं उनकी सुरक्षा को लेकर चिंतित रहता हूं। मैं जब भी घर से बाहर रहता हूं, तो मेरी पत्नी को मेरी सुरक्षा की चिंता रहती है।”
Gyanvapi Masjid case: Judge Ravi Kumar Diwakar expresses safety concerns
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— ANI Digital (@ani_digital) May 12, 2022
न्यायाधीश दिवाकर ने कहा, ‘‘कल मेरी अपनी मां से जब बातचीत हुई तो वे भी मेरी सुरक्षा को लेकर चिंतित थी। मीडिया से मिली खबरों से उन्हें पता चला कि शायद मैं भी कमिश्नर के रूप में मौके पर जा रहा हूं, तो उन्होंने मुझसे कहा कि मुझे मौके पर नहीं जाना चाहिए, क्योंकि इससे मुझे सुरक्षा संबंधी खतरा हो सकता है।”
उल्लेखनीय है कि वाराणसी की अदालत ने ज्ञानवापी श्रृंगार गौरी परिसर का वीडियोग्राफी सर्वेक्षण कराने के लिए नियुक्त कोर्ट कमिश्नर को पक्षपात के आरोप में हटाने संबंधी याचिका बृहस्पतिवार को खारिज करते हुए स्पष्ट किया कि ज्ञानवापी मस्जिद के अंदर भी वीडियोग्राफी कराई जाएगी।
Gyanvapi Masjid case: Family worried each time I step out, says Judge Ravi Kumar Diwakar
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दीवानी अदालत के न्यायाधीश (सीनियर डिवीजन) दिवाकर ने कोर्ट कमिश्नर अजय मिश्रा को हटाने संबंधी याचिका को नामंजूर कर दिया। साथ ही विशाल सिंह को विशेष कोर्ट कमिश्नर और अजय प्रताप सिंह को सहायक कोर्ट कमिश्नर के तौर पर नियुक्त किया। अदालत ने इसके साथ ही संपूर्ण परिसर की वीडियोग्राफी करके 17 मई तक रिपोर्ट पेश करने के निर्देश भी दिए हैं। (एजेंसी)