नई दिल्ली, निर्भया दुष्कर्म मामले पर आज एक नया मोड़ आया है। आज इस काण्ड के मुख्य अभियुक्त पवन कुमार गुप्ता की याचिका पर सुनवाई फिर दिल्ली हाई कोर्ट मेंटाल दी गयी है। खबरों के अनुसार अभियुक्त पवन के
नई दिल्ली, निर्भया गैंगरेप केस में दोषी पवन कुमार गुप्ता की याचिका पर आज ही सुनवाई होगी। पहले दिल्ली हाई कोर्ट ने सुनवाई 24 जनवरी तक टाल दी थी, लेकिन निर्भया के वकील की दखल के बाद अब आज ही सुनवाई करने का फैसला किया गया है। पवन के वकील एपी सिंह ने नए दस्तावेज पेश करने का समय मांगा था. जिस पर कोर्ट ने सुनवाई टाल दी थी।
निर्भया दुष्कर्म मामले पर आज एक नया मोड़ आया है। आज इस काण्ड के मुख्य अभियुक्त पवन कुमार गुप्ता की याचिका पर सुनवाई फिर दिल्ली हाई कोर्ट मेंटाल दी गयी है। खबरों के अनुसार अभियुक्त पवन के वकील ने नए दस्तावेज पेश करने हेतु समय की मांग को कोर्ट ने मान ली है। अब यह सुनवाई आगामी 24 जनवरी को होगी। जिससे ये साफ़ हो गया है की अब अभियुक्त पवन को अब 24 जनवरी तक फांसी नहीं हो सकती है।
Delhi High Court to hear shortly the plea of Pawan Kumar Gupta, one of the convicts in Nirbhaya case, who has moved the court claiming that he was a juvenile at the time of the offence in 2012 and should be treated under the Juvenile Justice Act. pic.twitter.com/x7jGk1AV7T
— ANI (@ANI) December 19, 2019
आपको ये भी बता दें की इसके पहले अभियुक्त पवन ने खुद को अपने द्वारा दिल्ली हाईकोर्ट में दायर याचिका में खुद को नाबालिग बताया था. उसने कहा था की चूँकि 2012 में वह नाबालिग था लिहाजा उसके साथ अब किशोर न्याय कानून के तहत बर्ताव किया जाना चाहिए। इसके पहले कल उच्चतम न्यायालय ने निर्भया सामूहिक बलात्कार और हत्या मामले में अपने 2017 के फैसले पर पुनर्विचार के लिये चौथे मुजरिम अक्षय कुमार सिंह की याचिका को खारिज कर दी थी। विदित हो कि इस मामले में तीन अन्य मुजरिमों की पुनर्विचार याचिका न्यायालय पहले ही खारिज कर चुका है। न्यायमूर्ति आर भानुमति, न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना की तीन सदस्यीय पीठ ने कल पुनर्विचार याचिका खारिज करते हुये कहा था कि 2017 के निर्णय पर फिर से विचार का कोई आधार नहीं है।
उधर निर्भया गैंगरेप मामले में फांसी की सजा पाए पवन गुप्ता ने अपनी याचिका में ये दावा भी किया था कि वह दिसंबर 2012 में हुई वारदात के समय नाबालिग था और ट्रायल कोर्ट ने गलत तरीके से उसके खिलाफ काम किया है।याचिका में यह भी कहा गया है कि ट्रायल कोर्ट ने एक नाबालिग के तौर पर उसके अधिकारों का हनन करने की कोशिश की है। उसने याचिका में यह भी दलील दी कि जांच अधिकारी द्वारा उम्र की जांच के लिए मेडिकल परीक्षण कराया ही नहीं गया था, लिहाजा उसे जुवेनाइल जस्टिस एक्ट कर तहत संदेह का लाभ मिलना चाहिए।
वहीं निर्भया गैंगरेप केस के चारों दोषियों को दया याचिका दाखिल करने के लिए सात दिन की मोहलत मिली है. पटियाला हाउस कोर्ट ने बुधवार को सुनवाई के दौरान तिहाड़ जेल प्रशासन को नोटिस जारी करने के लिए कहा. इस नोटिस में दोषियों को सात दिन की मोहलत दी जाएगी, जिसमें वह अपनी दया याचिका दाखिल कर सकते हैं. अब मामले की सुनवाई 7 जनवरी को होगी.
यह बात भी सामने आयी है कि इस केस के चारों दोषियों को पटियाला हाउस कोर्ट द्वारा, दया याचिका दाखिल करने के लिए सात दिन की मोहलत मिली है। कोर्ट ने बुधवार को सुनवाई के दौरान तिहाड़ जेल प्रशासन को नोटिस जारी करने के लिए कहा जिसमे इन दोषियों को दया याचिका दाखिल करने के लिए सात दिन की मोहलत मिलेगी। अब इस याचिका की सुनवाई आगामी 7 जनवरी को होगी।
Delhi High Court has adjourned hearing for 24th January, 2020 as convict Pawan Kumar Gupta’s lawyer Advocate AP Singh has sought time to file fresh documents in the matter. https://t.co/p31zmIP5ki
— ANI (@ANI) December 19, 2019
विदित हो कि दक्षिण दिल्ली में 16 दिसंबर, 2012 की रात में चलती बस में छह व्यक्तियों ने 23 वर्षीय छात्रा से सामूहिक बलात्कार के बाद उसे बुरी तरह जख्मी करके सड़क पर फेंक दिया था। निर्भया की बाद में 29 दिसंबर, 2012 को सिंगापुर के माउन्ट एलिजाबेथ अस्पताल में मृत्यु हो गयी थी। इस सनसनीखेज अपराध के सिलसिले में पुलिस ने छह आरोपियों को गिरफ्तार किया था। जिसमे से एक आरोपी राम सिंह ने तिहाड़ जेल में कथित रूप से आत्महत्या भी कर ली थी।