PHOTO- ANI
PHOTO- ANI

    Loading

    जयपुर: राजस्थान (Rajasthan) में कांग्रेस सरकार में विधायक सचिन पायलट (Sachin Pilot) ने राजनितिक नेताओं को मर्यादा में बात करने की सीख दी है। उन्होंने नाम न लेते हुए सीएम अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) को सीख दी है। दरअसल गहलोत ने पायलट की तुलना कोरोना से कर दी है। जिसके बाद मामला गंभीर हो गया है। एक कार्यक्रम में सचिन पायलट ने गहलोत के बायां का पलवार करते हुए कहा कि 32 सलाखों के पीछे बिना हड्डी की जो जीभ है उसे संतुलित करना बहुत जरूरी होता है। 

    उन्होंने कहा कि मुंह से निकली हुई बात कभी वापिस नहीं आती। राजनीति में मैंने मेरे स्वर्गीय पिताजी से बहुत कुछ सीखा है और राजनीति के अखाड़े में बड़े-बड़ों को पटखनी देते हुए देखा है। बता दें कि राजस्थान कांग्रेस में दो गुट हो गए हैं। जिसमें अक्सर जुबानी जंग होती रहती है। 

    कांग्रेस विधायक सचिन पायलट ने कहा कि जब चुनाव आते हैं, हम एक दूसरे का विरोध करते हैं। लेकिन यह मुद्दों के आधार पर किया जाना चाहिए। पिछले 5 दिनों में मैंने जिन विषयों पर बात की, वे किसानों, युवाओं के मुद्दों पर आधारित थे। किसी पर व्यक्तिगत हमले नहीं हुए। व्यक्तिगत हमलों में लिप्त होना और अभद्र भाषा बोलना ठीक नहीं। 

    बता दें कि राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत ने सचिन पायलट की तुलना कोरोना से करने के बाद मामला गरमा गया है। गहलोत के इस बयान के सामने आने के बाद पायलट गुट के नेता ने पलटवार किया है। अब कांग्रेस के दोनों गुट आमने सामने हैं। बताया जा रहा है कि सचिन पायलट सीख वाला बयान इसी संदर्भ में है। 

    राजस्थान में कांग्रेस सरकार के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और कांग्रेस विधायक सचिन पायलट के इस वाक् युद्ध में अब कांग्रेस विधायक वेद प्रकाश सोलंकी भी कूद गए हैं।  उन्होंने कहा कि अगर वाकई में कोरोना है और ये जानलेवा है तो जल्द से जल्द टीकाकरण की जरूरत है। अगर, सही समय पर सही टीका नहीं आया तो परिणाम पूरे राजस्थान के लिए घातक होंगे।