नई दिल्ली: देश में दहेज प्रथा के कारण हजारों-लाखों लड़कियों को दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। लगातार कई ऐसे मामले सामने आते हैं जहां दहेज के कारण लड़कियां इतनी पीड़ित होती है कि वह जान तक दे देती हैं। इन सब के बीच दहेज की श्रेणी में क्या चीजें आती हैं क्या नहीं इसे लेकर लगातार बहस होती रहती है। इसी बीच केरल हाईकोर्ट (Kerala High Court) ने एक बड़ा फैसला सुनाया है। जिसमें कहा कि शादी के समय बेटी को उसके माता-पिता की तरफ से दिए गए गिफ्ट को दहेज नहीं माना जा सकता है।
ज्ञात हो कि केरल हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने दहेज को लेकर दायर याचिका पर यह बातें कही है। इससे पहले कोल्लम जिला दहेज निषेध अधिकारी द्वारा जारी आदेश के खिलाफ दायर याचिका पर कोर्ट ने सुनवाई की है। जिला दहेज निषेध अधिकारी ने दुल्हन के माता-पिता द्वारा दुल्हन को गिफ्ट में दिए गए गहने वापस करने का निर्देश दिया था।
वहीं इस मामले में हाईकोर्ट में दायर याचिकाकर्ता का तर्क था कि दहेज निषेध अधिकारी के पास इसमें दखल देने या आदेश जारी करने का कोई हक नहीं है। कोर्ट ने पूरे मसले पर दहेज निषेध अधिकारी के आदेश को खारिज किया है। क्योंकि इस बात की पुष्टि नहीं हो पाई है क्या जांच अधिकारी ने जांच की थी या नहीं। साथ ही आभूषण दहेज के तौर पर मिले थे या नहीं इसकी भी डिटेल नहीं है।
उल्लेखनीय है कि महिला की तरफ से मांग करते हुए कहा गया कि उसे शादी में मिले 55 सोने के गहने उसे वापस दे दिए जाएं। उसका कहना था कि उसे मिले गहने बैंक के लॉकर में रखे गए हैं। याचिकाकर्ता की तरफ से कहा गया कि वह लॉकर में रखे गहने और दुल्हन के परिवार की तरफ से शादी में दिए गए हार को वापस लौटा देगा। महिला की तरफ से इस पर हामी भरने के बाद याचिका का निपटारा हो गया।