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नयी दिल्ली. चीन (China) के लिए जासूसी करने के आरोप में दिल्ली पुलिस (Delhi Police) की स्पेशल सेल ने शनिवार को एक पत्रकार को अपनी गिरफ्त में लिया है। पकड़े गए आरोपी पत्रकार  का नाम राजीव शर्मा (Rajeev Sharma) है। चीनी खुफिया एजेंसी को संवेदनशील जानकारी देने के लिए आधिकारिक राज अधिनियम (Official Secrets Act) के तहत इसे गिरफ्तार किया गया। इसी के एक चीनी महिला किंग शी और नेपाली नागरिक शेर सिंह को भी गिरफ्तार किया गया है।

मिली जानकरी के अनुसार पुलिस ने आरोपी के पास से भारतीय सेना के कई ख़ुफ़िया दस्तावेज़ प्राप्त किया है। वहीं पूछताछ में पत्रकार ने  चीनी खुफिया एजेंसी के लिया जासूसी करने की बात काबुल ली है। गिरफ्तार करने के बाद आरोपी को कोर्ट किया गया, जहां उसे छह दिन की रिमांड में भेज दिया है। 

खुफिया एजेंसी के अनुसार नई दिल्ली के पीतमपुरा के सेंट जेवियर अपार्टमेंट में रहने वाले राजीव शर्मा का विदेशी खुफिया अधिकारियों से संबंध रखता था और खुफिया जानकारी के बदले में अवैध तरीके से अपने हैंडलर से धन प्राप्त करता था। इसके चलते बीते 14 सितंबर को राजीव शर्मा को गिरफ्तार भी  किया गया था और दिल्ली पुलिस ने  उनके आवासीय परिसर की तलाशी के लिए एक वारंट भी प्राप्त किया  था।

वहीं इस बारे में स्पेशल सेल डीसीपी संजीव यादव ने विस्तृत जानकारी देते हुए मीडिया को जानकारी दी कि पूछताछ के दौरान राजीव शर्मा ने गुप्त और संवेदनशील जानकारी की खरीद में अपनी भागीदारी मान ली  है। उन्होंने यह भी बताया कि शर्मा, कुनमिंग स्थित अपने चीनी हैंडलर्स माइकल और जॉर्ज से अलग-अलग डिजिटल चैनलों के माध्यम से बातचीत भी करता और कराता था। राजीव शर्मा ने बताया कि वह इनके संचालकों को जल्द ही गुप्त दस्तावेज भेजने वाला था।

बताया यह भी गया है कि राजीव शर्मा ने 2010-2014 के दौरान चीनी सरकार के मुखपत्र ‘ग्लोबल टाइम्स’ के लिए एक साप्ताहिक कॉलम भी लिखा करता था और इसी कॉलम के चलते चीनी खुफिया एजेंट माइकल ने अपने लिंक्डइन अकाउंट के माध्यम से राजीव शर्मा से संपर्क किया था। इसके बाद माइकल ने मीडिया कंपनी के साथ साक्षात्कार के लिए कुनमिंग (चीन) में आमंत्रित किया। जिसका सारा खर्च माइकल ने ही वहन किया था। इस मीटिंग में राजीव शर्मा से  माइकल और उनके जूनियर शोऊ ने यह बात पक्की की थी कि राजीव भारत-चीन संबंधों के विभिन्न पहलुओं पर इनपुट उनको देगा।

जानकारी के मुताबिक  राजीव शर्मा 2016 और 2018 के बीच भी माइकल और शोऊ के लगातार संपर्क में था। उसे डोकलाम सहित भूटान-सिक्किम-चीन त्रिकोणीय जंक्शन पर भारतीय फ़ौज कि  तैनाती, भारत-म्यांमार सैन्य सहयोग का पैटर्न और भारत-चीन सीमा मुद्दा आदि मुद्दों पर जानकारी देने का खतरनाक किन्तु जरुरी काम सौंपा गया था। यह जानकारी भी आई है कि राजीव शर्मा ने एक बार लाओस और मालदीव में माइकल और शाऊ के साथ अपनी मीटिंग की और इनको जरुरी जानकारी भी दी । राजीव इन लोगों के साथ ई-मेल और सोशल मीडिया के माध्यम से भी जुड़ा हुआ था।

इसके बाद जनवरी जनवरी, 2019 में राजीव शर्मा एक अन्य कुनमिंग आधारित चीनी व्यक्ति जॉर्ज के साथ हो लिया। जॉर्ज से उसने  काठमांडू के रास्ते कुनमिंग जाकर मुलाकात की। कहा जा रहा है वहां जॉर्ज ने खुद को एक चीनी मीडिया कंपनी का महाप्रबंधक बताया और राजीव शर्मे से दलाई लामा से संबंधित मुद्दों पर रिपोर्ट लिखने को कहा।

इन सबके एवज में राजीव को प्रति लेख 500 अमेरिकी डॉलर की पेशकश की गई थी। वहीं जॉर्ज ने शर्मा से  दिल्ली के महिपालपुर स्थित कंपनी के माध्यम से पैसा भेजने कि बात कही जिसे  एक चीनी महिला किंग चलाती है जो अभी राजीव शर्मा के साथ गिरफ्तार हुई है। ख़ुफ़िया एजेंसी के मुताबिक राजीव शर्मा ने महत्वपूर्ण सूचना के एवज में जनवरी 2019 से सितंबर 2020 के बीच लगभग 10 किस्तों में जॉर्ज से 30 लाख रुपए प्राप्त किये हैं । खबर यह भी आ रही है कि राजीव ने इसके बाद भी कई दफा मलेशिया और कुनमिंग जॉर्ज से मिला था । फिलहाल खबर लिखे जाने तक राजीव शर्मा और उसके चीनी संबंधों पर तफ्तीश जारी है।