Farmer leaders Rakesh Tikait, Mehar Singh and Baldev Singh Sirsa along with wrestlers Sakshi Malik and Vinesh Phogat speak with the media during wrestlers' protest at Jantar Mantar
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नई दिल्ली: प्रदर्शनकारी पहलवानों (Wrestlers Protest) को सलाह देने वाली 31 सदस्यीय समिति ने रविवार को कहा कि अगर भारतीय कुश्ती महासंघ (WFI) के प्रमुख बृजभूषण शरण सिंह (Brij Bhushan Sharan Singh) को 21 मई तक गिरफ्तार नहीं किया जाता है तो वे कुछ अहम फैसला करेंगे।  इस बीच विनेश फोगाट (Vinesh Phogat) ने उन आरोपों को खारिज किया कि इस विरोध प्रदर्शन को किसानों ने ‘हाईजैक (नियंत्रण)’ कर लिया है।

भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के प्रवक्ता राकेश टिकैत, ‘खाप महम 24′ के प्रमुख मेहर सिंह और संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) (गैर-राजनीतिक) के बलदेव सिंह सिरसा पहलवानों के साथ मंच पर शामिल हुए और मीडिया को संबोधित किया। टिकैत ने यहां इकट्ठा हुई भारी भीड़ को कहा, ‘‘आज बैठक में खाप पंचायत और एसकेएम के कई नेता शामिल हुए। हमने तय किया कि हर खाप से सदस्य रोज धरना स्थल पर आएंगे। वे दिन में यहीं रुकेंगे और शाम तक लौट आएंगे।”

उन्होंने कहा, ‘‘पहलवानों की समिति धरना प्रदर्शन करेगी और हम पहलवानों को बाहर से समर्थन देंगे। हमने 21 मई के लिए बैठक निर्धारित की है। अगर सरकार कोई प्रस्ताव नहीं देती है, तो हम अपनी अगली रणनीति तैयार करेंगे।” उन्होंने कहा, ‘‘ अगर कोई आपात स्थिति आती है, पहलवान अगर किसी समस्या का सामना करते है तो पूरा देश उनके साथ खड़ा है।”

शाम को पहलवानों ने सैकड़ों समर्थकों के साथ कैंडल (मोमबत्ती) मार्च निकाला। इस दौरान इंकलाब जिंदाबाद के नारे गूंज रहे थे और पहलवान एक-दूसरे का हाथ पकड़कर चल रहे थे। मार्च शुरू होने से ठीक पहले ‘मेरा रंग दे बसंती चोला’ जैसे देशभक्ति गीत बजाए गए। विरोध स्थल पर भारी भीड़ के मद्देनजर बड़ी संख्या में सुरक्षाकर्मियों को लगाया गया था। इसमें रैपिड एक्शन फोर्स (आरएएफ) और महिला सुरक्षाबलों की भी बड़ी सुख्या में तैनाती की गई है।

रविवार को ‘महापंचायत’ में पहलवानों की ओर से अगले कदम पर चर्चा के दौरान धोती-कुर्ता पहने और सैकड़ों की संख्या में पगड़ीधारी किसानों को प्रदर्शन स्थल पर देखा गया। यह दृश्य किसानों के उस विरोध की तरह था, जो 13 महीने तक चला था।  दिल्ली पुलिस ने धारा 161 के तहत सात महिला शिकायतकर्ताओं के बयान दर्ज कर लिये हैं, जबकि आपराधिक प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 164 (मजिस्ट्रेट के सामने) के तहत बयान दर्ज किए जाने बाकी हैं। भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के प्रमुख बृजभूषण पर कई महिला पहलवानों के यौन शोषण का आरोप लगाया है और उन्हें हटाने की मांग की है। टिकैत ने कहा कि तिरंगे का अपमान किया गया है और इसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

उन्होंने कहा, ‘‘ हम पहलवानों की हर संभव तरीके से मदद करेंगे।” उन्होंने कहा कि यह विरोध प्रदर्शन लंबा चलेगा और यह पूरे देश में फैल सकता है। उन्होंने कहा, ‘‘ यह (जंतर मंतर) अभी विरोध स्थल बना रहेगा। हमें लंबी लड़ाई के लिए तैयार रहना होगा और यह विरोध प्रदर्शन और बढ़ेगा।” टिकैत ने कहा, ‘‘ यह कोई राजनीतिक विरोध नहीं है, यह एक गैर-राजनीतिक संगठन है। लेकिन कुछ राजनेता पार्टी लाइन से हटकर इन पहलवानों के समर्थन में आ गए हैं।”

सिरसा ने कहा, ‘‘ हमने यह भी तय किया है कि हम सरकार को बृजभूषण को गिरफ्तार करने के लिए मजबूर करेंगे। किसानों ने जिस तरह (कृषि कानूनों के खिलाफ) अपनी लड़ाई लड़ी थी, उसी तरह पहलवान अपना संघर्ष जारी रखेंगे।” सिरसा ने कृषि कानूनों को निरस्त करने में किसानों की जीत का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘मैं सरकार से अनुरोध करता हूं कि हमारे धैर्य की परीक्षा न ले। उन्होंने कुछ समय पहले हमारी परीक्षा ली थी और हमने परीक्षा पास की थी।” विश्व चैंपियनशिप की पदक विजेता विनेश फोगट ने भी संकेत दिया कि अगर उनकी मांगें नहीं मानी गईं तो विरोध और बड़ा हो सकता है।

उन्होंने कहा, ‘‘ अगर 21 मई तक सरकार का कोई प्रस्ताव नहीं आया तो हम एक बड़ा फैसला ले सकते हैं। किसी ने भी हमारे विरोध को ‘हाईजैक’ नहीं किया है। सिर्फ अन्याय के खिलाफ हमारी लड़ाई में लोग हमारे साथ हैं। ये लोग हमारा सम्मान करते हैं और हमारी गरिमा की परवाह करते हैं।” यह पूछे जाने पर कि क्या वे लंबे समय तक प्रशिक्षण और प्रतियोगिता से दूर रहने के लिए मानसिक रूप से तैयार हैं, उन्होंने ना में जवाब देते हुए कहा, ‘‘हम निश्चित रूप से प्रतिस्पर्धा करेंगे। हम इसके बारे में एक योजना तैयार करेंगे। हम निश्चित रूप से प्रतियोगिताओं के लिए जाएंगे।” उन्होंने कहा, ‘‘हमारी बस एक ही मांग है कि पहले बृजभूषण को गिरफ्तार किया जाए और फिर उससे पूछताछ की जाए।” (एजेंसी)