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    मुंबई. महाराष्ट्र (Maharashtra) के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे (Udhhav Yhackrey) ने शुक्रवार को कहा कि मुंबई के एक अस्पताल में आग लगने की घटना के लिए जिम्मेदार पाए जाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। मुंबई में एक मॉल में स्थित अस्पताल में आग लगने के बाद 10 मरीजों की मौत हो गई। इस अस्पताल में ज्यादातर कोरोना वायरस के मरीजों का इलाज चल रहा था।

    मॉल का दौरा करने के बाद संवाददाताओं से बातचीत करते हुए ठाकरे ने घटना के पीड़ितों के परिवारों से माफी मांगी और प्रत्येक मृतक के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की। ठाकरे ने कहा कि आग अस्पताल में नहीं, बल्कि उसके नीचे स्थित किसी कार्यालय या दुकान में लगी थी।

    अधिकारियों के अनुसार आग बृहस्पतिवार को देर रात ड्रीम्स मॉल, भांडुप की पहली मंजिल पर लगी और यह ऊपरी मंजिल पर बने सनराइज अस्पताल तक पहुंच गयी। यह अस्पताल चार मंजिले मॉल की सबसे ऊपरी मंजिल पर स्थित है और जब आग लगी तब वहां 76 मरीज मौजूद थे, जिनमें से ज्यादातर कोविड-19 का इलाज करा रहे थे। ठाकरे ने कहा कि पिछले साल राज्य सरकार ने कुछ अस्पतालों को कोविड मरीजों के इलाज की अनुमति दी थी और कहा कि यह अस्पताल में उनमें से एक था।

    उन्होंने कहा, ‘‘यह मंजूरी 31 मार्च को समाप्त होने वाली थी। दुर्भाग्य से, आग मॉल की पहली मंजिल पर लगी और ऊपर की तरफ फैल गयी।” उन्होंने कहा कि अस्पताल में भर्ती सभी मरीजों को बचाने का प्रयास किया गया। लेकिन उन मरीजों को बाहर निकालने में समय लगा जो वेंटिलेटर पर थे। उन्होंने कहा, ‘‘”दुर्भाग्यवश उनकी मौत हो गयी।” ठाकरे ने कहा कि घटना की जांच करायी जाएगी और जो भी जिम्मेदार होगा, उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा, ‘‘मैं इस घटना में मारे गए लोगों के परिजनों से माफी मांगता हूं।”