The city's first animal electric incinerator will start in Mumbai, plans to set up an area of 2500 sq.

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मुंबई. देश भर में लागू किए नये श्रमिक कानून को लेकर कर्मचारियों में भारी नाराजगी है. अपनी नाराजगी प्रकट करने के लिए आज गुरुवार को विभिन्न कामगार संगठनों की देशभर में हड़ताल चल रही है. लेकिन मुंबई में कोरोना संकट को देखते हुए बीएमसी के अत्यावश्यक सेवा में लगे कर्मचारियों ने हड़ताल से दूरी बना ली है. बीएमसी कर्मचारी समन्वय समिति ने इसकी घोषणा की है. 

केंद्र सरकार ने औद्योगिक को बढ़ावा देने के नाम पर उद्योगपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए मानसून सत्र में 27 कानून रद्द कर 3 नये कानून लागू किए हैं. इस नये कानून से 75% कामगार श्रमिक कानून के दायरे से बाहर हो जाएंगे. इस मुद्दे को लेकर कामगार संगठनों ने एक दिन की हड़ताल बुलाई है.

एक साथ 17 लाख कर्मचारी इसमें शामिल हो रहे हैं. कर्मचारी संगठनों की मांग है कि पुरानी पेंशन स्कीम लागू करें. कामगारों के लिए जो भी नीतियां बनाई जाए तो कर्मचारियों को मंजूर होनी चाहिए. इसके अलावा कई और मांगे हैं जिसे पूरा करने की मांग हो रही है. राज्य सरकारी कर्मचारी संघ के महासचिव विश्वास काटकर ने दी.  

केंद्र सरकार ने जल्दबाजी में मंजूर किए गए कानून का निषेध किया जा रहा है. एक लाख से अधिक बीएमसी कर्मचारी कोरोना की सेवा में लगे हैं. कोरोना को देखते हुए अत्यावश्यक सेवा में कर्मचारी हड़ताल में शामिल नहीं हो रहे हैं. केंद्र सरकार की नीतियों का विरोध बीएमसी कर्मचारी ड्यूटी के निषेध व्यक्त कर रहे हैं.

-एड. प्रकाश देवदास, मुंबई मनपा कामगार कर्मचारी संघ समन्वय समिति