राम मंदिर शिलान्यास पार्टी के वचनपूर्ति का शुभारंभ: शिवसेना

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मुंबई. शिवसेना प्रमुख और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को राम जन्मभूमि पूजन और शिलान्यास के लिए भले ही मंदिर ट्र्स्ट और सरकार की तरफ से कोई निमंत्रण नहीं मिला हो, राम मंदिर जैसे भावनात्मक मुद्दे को शिवसेना इतनी आसानी से नहीं जाने देने वाली है. अयोध्या में 5 अगस्त को राम मंदिर के शिलान्यास से पहले शिवसेना ने मुंबई में बड़े-बड़े होर्डिंग्स लगाये और राम मंदिर को पार्टी के प्रणेता बाल ठाकरे के वचनपूर्ति से जोड़ा. पवई के नजदीक एक ऐसे ही विशालकाय होर्डिंग्स में बाल ठाकरे के अलावा उद्धव ठाकरे के फोटो को प्रमुखता से छापा गया जिसमें कहा गया “राम राज्य का शुभारंभ- स्वप्नपूर्ति का शुभारंभ”.

गौरतलब है कि राम मंदिर का मुद्दा शिवसेना के लिए काफी महत्वपूर्ण रहा है और पार्टी के सुप्रीमो स्व. बाल ठाकरे की अगुवाई में कई शिवसैनिकों ने बतौर कारसेवक दिसंबर 1992 में मुंबई और महाराष्ट्र से अयोध्या कूच किया था और बकौल बाल ठाकरे, उनके शिवसैनिकों ने विवादास्पद ढांचे को ढहाने में भूमिका निभाई थी. मामला जब कोर्ट में चला तो सभी लोग ढांचे के विध्वंश में अपना रोल होने से मुकरने लगे थे, परंतु शिवसेना प्रमुख बाल ठाकरे ने तब कहा था कि अगर उनके शिवसैनिकों ने ये कार्य किया है तो उन्हें गर्व है. यही नहीं, शिवसेना समर्थित विधायक पवन पांडे ने भी खुलेआम स्वीकार किया था कि उन्होंने विवादास्पद ढांचे को ढहाया था.

एक करोड़ रुपये का डोनेशन भी दिया

 गौरतलब है कि मंदिर निर्माण करवा रही ट्रस्ट को उद्धव ठाकरे ने एक करोड़ रुपये का डोनेशन भी दिया है. शिवसेना लीडर अनिल देसाई ने कहा कि महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे के 60वें जन्मदिन के अवसर पर 27 जुलाई को यह राशि श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के खाते में डाली गई. गौरतलब है कि जब से शिवसेना से काँग्रेस और राष्ट्रवादी कॉंग्रेस के साथ मिलकर महाराष्ट्र में “धर्मनिरपेक्ष” सरकार बनाई है, तब से इसकी विरोधी बीजेपी ने इसे राम मंदिर जैसे हिन्दू धर्म से जुड़े मुद्दे से अलग थलग रखने की कोशिश करने में जुटी है.