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नागपुर. आज नवभारत-नवराष्ट्र द्वारा प्रस्तुत कोविड -19 e – चर्चा में “कोविड-19 महामारी के दौरान प्रशासन के सामने आने वाली चुनौतियां” के बारे में बताते हुए महाराष्ट्र के 17 वें मुख्यमंत्री रह चुके पृथ्वीराज चव्हाण हमारे साथ दोपहर 3:30 बजे नवभारत के फेसबुक पेज (https://www.facebook.com/enavabharat) से आपके साथ रूबरू हुए। कई बड़े मुद्दों पर उन्होंने अपना मत रखा और सरकार को कई सुझाव भी दिए। उन्होंने कहा कि हमे मानसिक रूप से तैयार रहना होगा की कोरोना वायरस काफी लम्बे समय तक रहेगा जब तक इसकी वैक्सीन बन कर तैयार नहीं हो जाती। हमे कुछ बातों (सोशल डिस्टन्सिंग, मास्क पहनना, हाथ धोते रहना, अपने व्यक्तिगत स्वास्थ्य का रखरखाव, व्यायाम इत्यादि) का ध्यान रखते हुए ऐसी परिस्थिति में आगे बढ़ना होगा। 

उन्होंने आगे बताया की देश सहित राज्य आर्थिक संकट से जूझ रहा हैं और सरकार लोगों को बैंकों से क़र्ज़ लेने को कह रही हैं, लेकिन यह असंभव हैं। बीते कुछ महीनों में लोगों को सिर्फ खर्चे ही हुए हैं कमाई की बात करे तो किसी के पास कुछ नहीं हैं। ऐसे में यह सरकार की ज़िम्मेदारी हैं की छोटे उद्योग सहित जरुरतमंदों को सहायता प्रदान करे। साथ ही उन्होंने कहा की सरकार को ग्रांट देने की योजना बनानी चाहिए। अब तक जितना भी नुकसान हुआ है उसमें सरकार लोगों की मदद करे।  

उन्होंने मुंबई में कोरोना की स्थिति पर प्रशासन की चूक बताते हुए कहा कि अगर केंद्र सरकार शुरू में ही मुंबई में इंटरनेशनल फ्लाइट्स का आवागमन बंद कर देती और सख्त होती तो इतनी मात्रा में संक्रमित लोग नहीं पाए जाते। उन्होंने कोरोना से भयभीत मुंबई की जनता को संदेश दिया कि “हमारे पास साधन है और पूरी कोशिश है की किसी को भी परेशानी का सामना न करना पड़े। सभी तरह की चीजों के लिए अलग अलग व्यवस्था की गई हैं।

उन्होंने यह भी बताया कि बाकि राज्यों और शहरों के मुकाबले मुंबई में सबसे ज्यादा व्यवस्था की गई हैं। उन्होंने यह भी सुझाव दिया है कि वह डॉक्टर्स जो 2 साल पहले रिटायर हुए है या जो अभी प्रैक्टिस कर रहे और मेडिकल के लास्ट इयर में पढ़ रहे विद्यार्थियों को भी बुला लिया जाए जैसे डॉक्टर्स की कमी को पूरा किया जा सके। 

चव्हाण आगे कहा की धीरे धीरे कुछ कुछ हिस्सों में ढील देना जरूरी हैं जिससे लोग घबराएं न और बिना चिंता के आगे बढ़ सके। उन्होंने सुझाव देते हुए कहा कि प्रशासन में कुछ लोग है जिनके पास काम नहीं है और कुछ ऐसे भी है जो 2-2 महकमे संभाल रहे हैं तो ऐसे में बल का सही जगह इस्तेमाल हो सरकार को इस बात पर ध्यान देना चाहिए।