RTMNU, nagpur University

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नागपुर: आरटीएम नागपुर विवि द्वारा आनलाइन परीक्षा संचालित कराने के लिए योग्य तरीके से नियोजन नहीं किये जाने का ही नतीजा है कि अब तक कई विषयों की परीक्षा स्थगित कर दोबारा लेने की नौबत आई है. लागिंग नहीं होना, पेपर नहीं दिखना, सबमिट नहीं होना जैसी समस्या पहले ही दिन से बनी हुई है.

इसके बावजूद प्रशासन अपनी खामियों को तकनीकी गडबडी का नाम देखकर छात्रों के साथ ‘मजाक’ कर रहा है. बुधवार को बीएससी के बॉटनी और गणित विषय के पेपर में भी तकनीकी दिक्कतों ने साथ नहीं छोड़. विवि ने बुधवार की परीक्षा को स्थगित कर गुरुवार को दोबारा लेने की घोषणा की. 

विवि प्रशासन शुरूआत से परीक्षाओं की पूरी तैयारी होने का दावा कर रहा था, लेकिन जब पहले ही दिन तकनीक दिक्कतें आई तो आनलाइन व्यवस्था अनुकूल नहीं होने का दम भरते हुए जल्द ही स्थिति सामान्य होने का छात्रों को आश्वासन दिया गया. लेकिन दिन बाद पुन: उत्तर सबमिट नहीं होने की समस्या की वजह से उस दिन के सभी पेपर को स्थगित कर दिया गया था. इसके बाद फार्मेसी सहित अन्य विषयों की परीक्षा में भी यही दिक्कत आई. 

सुबह 8 बजे से परीक्षा 

बुधवार को दोपहर 2.30 से 3.30 बजे तक बीएससी के बॉटनी और गणित विषय की परीक्षा ली गई. लेकिन शुरूआत से ही लागिन की समस्या बनी रही. छात्र परेशान हो गये. लागिन नहीं होने से प्रश्न पत्र ही नहीं खुल सका. छात्र हेल्पलाइन पर फोन कर परेशान हो गये. समय बीत जाने के बाद भी समस्या का निवारण नहीं हो सका. करीब 4000 से अधिक छात्र परीक्षा के वंचित रह गये. विवि प्रशासन ने तकनीकी दिक्कत होने से बुधवार के बीएससी बॉटनी और गणित का विषय का परचा अब गुरूवार को सुबह 8-9 बजे तक बीच लेने की घोषणा की. हर दिन होने वाली तकनीक दिक्कत से छात्र परेशान हो गये है. 

योग्य नियोजन का अभाव 

प्रशासन का कहना है कि आनलाइन परीक्षा उनके लिए नया अनुभव है. लेकिन जब विवि को समय मिला था तो फिर योग्य नियोजन क्यों नहीं किया गया. एक दिन ही चार पेपर लेने की जरुरत ही क्या थी. शिक्षा क्षेत्र से जुड़े जानकार मानते हैं कि विवि मुसीबत टालने जैसी हरकत कर रहा है. आनलाइन व्यवस्था के लिए जिस एजेंसी को जिम्मेदारी दी गई है उसकी क्षमता का पहले ही आकलन क्यों नहीं किया गया.

एक ही विषय की परीक्षा दोबारा देने का सीधा मतलब है कि विवि के लिए कोरोना के संकट काल में परीक्षा की गंभीरता जरा भी नहीं रही है. इस पूरे मामले में अब तक एक बार फिर भी उपकुलपति ने स्पष्टीकरण नहीं दिया है. पेपर स्थगित होने के बाद वेबसाइट पर नोटिफिकेशन डाल दिया जाता है. जिन छात्रों को जानकारी नहीं होती उनके लिए परीक्षा से वंचित रहने के अलावा और कोई मार्ग ही नहीं रह गया है.