RTMNU, nagpur University

  • विवि के पास 51 वकीलों का पैनल

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नागपुर. शासकीय विभागों के खिलाफ न्यायालयीन मामले बढ़ते जा रहे है. कर्मचारियों-अधिकारियों के साथ ही अन्य लोगों द्वारा मामले दर्ज किये जाते हैं. यही वजह है कि हर विभाग में वकीलों के पैनल की नियुक्ति की जाती है. न्यायालयीन मामलों में आरटीएम नागपुर विवि भी पीछे नहीं है. विवि ने पिछले 5 वर्षों के भीतर न्यायालयीन प्रकरण पर 8133050 रुपये खर्च किये है.

आरटीआई एक्टिविस्ट अभय कोलारकर द्वारा सूचना के अधिकार के तहत मांगी गई जानकारी में यह खुलासा हुआ. विवि ने न्यायालयीन मामलों के निपटारे के लिए 51 वकीलों का पैनल तैयार किया है. वर्ष 2018 में 6 वकीलों को काम दिया गया और इन पर 265000 रुपये खर्च किये गये. वहीं 2019 में 4 वकीलों पर 410000 रुपये खर्च किये गये.

इसी तरह 2017 में 166, 2018 में 198 , 2019 में 143, 2020 में 22 मामले विवि के खिलाफ कोर्ट में डाले गये. इसी तरह विवि ने 2017 में 1, 2018 में 6, 2019 में 3 मामले कोर्ट में डाले. 2017 से लेकर 2020 तक विवि ने कर्मचारियों के खिलाफ कोई भी केस नहीं किया. जबकि 24 कर्मचारियों ने विवि के खिलाफ न्यायालय की शरण ली.

मुकदमे लड़ने के लिए विवि को हर वर्ष भारी रकम खर्च करना पड़ रहा है. 2016-17 में विवि ने 1455000, 2017-18 में 2044000, 2018-19 में 2262000, 2019-20 में 1948550 और इस वर्ष अब तक 423500 रुपये विवि न्यायालयीन प्रकरणों पर खर्च करना पड़ा है. विवि ने बजट में हर वर्ष न्यायलयीन खर्च के लिए 25 लाख का बजट रखा जाता है.