Maratha reservation
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नाशिक. सकल मराठा क्रांति मोर्चा (Sakal Maratha Kranti Morcha) की ओर से आजाद मैदान (Azad Maidan) पर होने वाले आंदोलन को रोकने और संगठन के समन्वयकों को नीचा दिखाने की सत्ताधारियों ने ठान रखी है और पुलिस यंत्रणा का दुरुपयोग कर रहे हैं। ऐसा आरोप संगठन के पदाधिकारियों ने लगाया है।

हालांकि यह आरोप अप्रत्यक्ष रूप से राज्य के समन्वयक तुषार जगताप द्वारा पालक मंत्री छगन भुजबल (Chhagan Bhujbal) के खिलाफ लगाया गया है, लेकिन संगठन के अन्य संयोजक करण गायकर ने सतर्क रुख अपनाते हुए कहा कि यह जगताप की निजी राय थी। 

पुलिस की हर संयोजक पर कड़ी नजर 

मराठा समुदाय ने सोमवार से मुंबई के आजाद मैदान में दो दिवसीय आंदोलन करने का आह्वान किया है। आंदोलन के लिए आजाद मैदान में जिले के सैकड़ों कार्यकर्ता मौजूद हैं। इससे जिले में सत्तारूढ़ पार्टी के नेताओं को तकलीफ हो रही, जो ओबीसी आंदोलन का नेतृत्व कर रहे हैं। राज्य समन्वयक तुषार जगताप ने आरोप लगाया है कि पुलिस हर संयोजक पर कड़ी नजर रख रही है, उनका इरादा है जिले के युवा आजाद मैदान नहीं पहुंचें। जगताप ने भुजबल के जिले में सत्ता के उपयोग की आलोचना की है, जो सामाजिक संघर्ष के माध्यम से सत्ता में आए, मराठा समुदाय की न्यायिक भावनाओं को दबाने के प्रयास कर रहे हैं।

आंदोलनकारियों को डराया गया

राज्य सरकार पुलिस को आगे करके मराठा समन्वयकों पर नजर रख रही है। आंदोलन की शुरुआत से पहले आंदोलनकारियों को डराया गया, नोटिस देकर मामले दर्ज किए गए। सरकार की नकारात्मकता मराठा युवाओं के भविष्य को अंधकारमय कर रही है, इसलिए युवा आक्रामक हैं। 

-तुषार जगताप, राज्य समन्वयक

‘कार्रवाई के पीछे भुजबल का हाथ’

मराठा क्रांति मोर्चा के राज्य समन्वयक तुषार जगताप ने सीधे तौर पर पालक मंत्री छगन भुजबल पर पुलिस की कार्रवाई के पीछे होने का आरोप लगाया है, एक अन्य समन्वयक करन गायकर ने सतर्कता बरती है। उनका मानना है कि पुलिस का प्रशासनिक कर्तव्य है कि प्रदर्शनकारियों पर नजर रखे और इस संबंध में पालक मंत्री भुजबल को निशाना बनाना उचित नहीं है। इससे यह स्पष्ट हो गया है कि जिले में दो राज्य समन्वयकों के बीच बेमेल संबंध हैं।