Excavation banned in restricted area, DM gave strict order in first meeting

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    नाशिक. जिला कलेक्टर सूरज मांढरे (Suraj Mandhare) ने बुधवार को आयोजित बैठक में निर्देश दिया कि पर्यावरण (Environment) को नुकसान पहुंचाने वाले महत्वपूर्ण और पूरी तरह से प्रतिबंधित किलों, पहाड़ियों या ऐतिहासिक विरासत स्थलों पर खुदाई पूरी तरह से प्रतिबंधित (Restricted) होनी चाहिए। पर्यावरण के लगातार विकास एवं पर्यावरण संतुलन के लिए गठित लघु खनिज कार्यबल की पहली बैठक में जिला कलेक्टर मांढरे बोल रहे थे। 

    बैठक में कृति दल के समन्वयक अपर जिलाधिकारी दत्त प्रसाद नडे, उप मुख्य कार्यकारी अधिकारी रविंद्र परदेशी, उप वनरक्षक (पूर्व व पश्चिम) पंकज गर्ग, सार्वजनिक निर्माण विभाग के कार्यकारी अभियंता सिद्धार्थ तांबे, भूजल सर्वेक्षण विभाग के वरिष्ठ भूवैज्ञानिक जीवन बेडवाल के साथ संबंधित विभाग के प्रतिनिधि और कृति के अशासकीय सदस्य के पद पर नियुक्त किए गए नाशिक जिले के विकास प्रतिनिधि, क्रशर खाणपट्टा धारक प्रतिनिधि, पर्यावरण के विषय में काम करने वाले व्यक्ति और संस्थानों के प्रतिनिधि उपस्थित रहे।

    पारदर्शी तरीके से काम करने की जरूरत

    मांढरे ने कहा कि नियमानुसार समस्त प्रतिबंधित क्षेत्र, मध्यम छूट वाले क्षेत्र एवं खुले क्षेत्र में द्वितीयक खनिजों के खनन का निर्णय लिया जायेगा तथा पर्यावरण के लिए हानिकारक खनन पर तत्काल रोक लगायी जायेगी। आपसी संचार और समन्वय से तेजी से काम करना संभव है। उसके लिए सभी सदस्यों को पारदर्शी तरीके से काम करने की जरूरत है और इस मुद्दे पर काम करते समय डेवलपर, खनिजों, पर्यावरणविदों, सरकार और व्यापक जनहित पर विचार किया जाना चाहिए। टास्क फोर्स द्वारा निर्धारित उद्देश्यों को प्राप्त करने के लिए संबंधित विशेषज्ञों की मदद से सर्वसम्मति से कार्य तय किया जाएगा। साथ ही समय-समय पर संबंधित मुद्दों की समीक्षा के लिए टास्क फोर्स के सदस्यों के छोटे-छोटे समूह बनाए जाएंगे। यदि गौण खनिजों के खनन के संबंध में कोई शिकायत मिलती है तो स्थिति पर विचार कर निर्णय लिया जाएगा।

    पर्यावरण संतुलन बनाए रखने तैयार करें कार्य योजना

    उन्होंने सभी संबंधित समूहों को पर्यावरण संतुलन बनाए रखने के लिए कार्य योजना तैयार करने और इस संबंध में प्रस्ताव प्रस्तुत करने के भी निर्देश दिए। जिले की आवश्यकता अनुसार उत्खनन से निश्चित रूप से संतुलन बनाये रखने में मदद मिलेगी कि जिले में कहीं भी विकास कार्य बाधित न हो। यदि टास्क फोर्स के सदस्य जिम्मेदारी लेते हैं और जल्द ही प्रस्ताव जमा करते हैं, तो इसे जल्दी से लागू करना संभव होगा। उन्होंने यह भी कहा कि सदस्यों द्वारा किए गए कार्यों की समीक्षा के लिए समय-समय पर बैठकें की जाएंगी और यदि कोई समस्या आती है तो समय समय पर बैठक आयोजित करके उनका समाधान किया जाएगा।