नए गोदामों से बढ़ी अनाज भंडारण की क्षमता

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नाशिक. आर्थिक रूप से कमजोर और जरूरतमंद परिवारों के लिए सरकार के माध्यम से दिए जाने वाले राशन का भंडारण करने के लिए गोदामों की जरूरत महसूस हो रही थी, जिसे ध्यान में रखकर जिले में नए 13 गोदामों का निर्माण किया जा रहा है. इसमें से 5 गोदामों का निर्माण कार्य पुर्ण हो चुका है, जिसे आपूर्ति विभाग के कब्जे में दिया गया है. इससे अनाज भंडारण की क्षमता 12 हजार मेट्रिक टन से बढ़ गई है.

जिले में 2600 से अधिक राशन दुकानें हैं. इसके माध्यम से लाखों लाभार्थियों को सस्ते दामों में अनाज वितरण किया जाता है. हर महिना करिब 40 हजार मेट्रिक टन अनाज का वितरण लाभार्थियों को होता है, लेकिन वर्तमान में आपूर्ति विभाग के अनाज गोदाम कि भंडारण क्षमता 17 हजार 500 मेट्रिक टन है. इसलिए अनाज का भंडारण करते समय आपूर्ति विभाग को कई समस्या का सामना करना पड़ रहा था. इसलिए जिले में गोदाम निर्मिती का निर्णय लिया गया. देवला, नाशिक व नांदगाव में गोदाम थे, जिसे ध्यान में रखकर शेष तहसीलों में गोदामों का निर्माण किया जा रहा है.

यहां पर गोदामों का निर्माण

चांदवड़, सिन्नर, येवला, सुरगाणा व दिंडोरी तहसील में गोदाम तैयार हुई है, जो आपूर्ति विभाग को मिली है. इसलिए यहां पर 12 हजार मेट्रिक टन अनाज का भंडारण करने की व्यवस्था हुई. इस महिने में दो गोदाम और दिसंबर आखिर तक सभी नए गोदाम तैयार होंगे. इससे अनाज भंडारण की क्षमता 34 हजार 500 मेट्रिक टन बढ़ेगी.

एक लाख मेट्रीक टन रोटेशन

जिले के गोदामों की क्षमता 17 हजार 500 मेट्रिक टन थी और 34 हजार 500 मेट्रिक टन अनाज भंडारण की क्षमता बढ़ाई जा रही है. इससे करिब एक लाख मेट्रिक टन अनाज का रोटेशन करने में आसानी होगी.

-अरविंद नरसीकर, जिला आपूर्ति अधिकारी