plasma

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    नाशिक. कोरोना (Corona) के बढ़ते कहर के कारण प्लाज्मा (Plasma) की आवश्यकता बढ़ गयी है। कई दानदाता जो पहले कोरोना से संक्रमित हो चुके हैं, प्लाज्मा दान करने के लिए आगे आ रहे हैं। ब्लड बैंक (Blood Bank) के सूत्रों ने कहा कि कई जरूरतमंद मरीजों को प्लाज्मा मिल रहा है क्योंकि प्लाज्मा डोनर अपने दम पर आगे आ रहे हैं। कई डॉक्टर शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ावा देने के लिए मरीजों को प्लाज्मा देने की सलाह देते हैं। 

    मरीज के शरीर से 400 मिलीग्राम प्लाज्मा निकाला जाता है, इसमें से एक मरीज को 200 मिलीग्राम प्लाज्मा दिया जाता है। इस प्रकार एक दाता से दो मरीजों को जीवन मिल रहा है। 

    जनजागरूकता से आगे आ रहे डोनर

    पिछले कुछ दिनों से प्लाज्मा डोनर्स की संख्या कम थी, लेकिन सार्वजनिक जागरूकता के कारण वे प्लाज्मा प्रदान करने के लिए अपने दम पर आगे आ रहे हैं। एक फर्म में प्लाज्मा डोनर्स की संख्या 15 से 20 है। यह संख्या हर दिन 30 से 40 मरीजों की जान बचा रही है।

    शुरुआत में हो रही थी कठिनाई 

    अतीत में ब्लड बैंकों को प्लाज्मा दाताओं को प्राप्त करने के लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ती थी। एक डोनर कई फोन कॉल के बाद आगे आ रहा था, लेकिन इस आंदोलन के लिए कई संगठनों के आगे आने से यह काम आसान हो गया है।