कोरोना को लेकर CM हेमंत सोरेन ने PM और गृहमंत्री को लिखा पत्र, सेना का मांगा सहयोग

    Loading

    ओमप्रकाश मिश्र 

    रांची. मौत बनकर टूट पड़े कोरोना के बढ़ते संक्रमण, लगातार दम तोड़ते लोग, मौत से विलाप करते परिजनों की चीत्कार, लगातार सायरन बजाते एम्बुलेंस, हॉस्पिटल के भीतर और बाहर चीखते दम तोड़ते मरीज, मृतकों की लाशें लेने के लिए अस्पतालों के बाहर लम्बी कतार में खड़े लोग, अंतिम संस्कार के लिए शमशानों, कब्रिस्तानो में अपनी बारी  के इंतजार में कतार में खड़े लोग, कोरोना  संक्रमण के मौत का दंश झेल रहा यह है झारखंड की वर्तमान तस्वीर। झारखंड (Jharkhand) में कोरोना (Corona) के बढ़ते और बेकाबू होते हालात के मद्देनजर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Chief Minister Hemant Soren) ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) और गृहमंत्री (Home Minister) समेत रक्षा मंत्री को भी पत्र (Letter) लिखकर झारखंड में कोरोना की बेकाबू होती स्थिति से उन्हें अवगत कराया और हालात से निबटने के लिए सेना से सहयोग दिलाने की मांग की है। इसके अलावा आज एक आपात सर्वदलीय बैठक बुलाकर कोरोना पर काबू कैसे पाया जाय इस मुद्दे पर भी विस्तृत चर्चा की गई। 

    झारखंड में कोरोना बहुत तेजी से फ़ैल रहा है। पुरे राज्य में अब तक संक्रमण के 23,045 सक्रिय मामले आए हैं, जिनमे 1,376 लोगों की मौत हो चुकी है। रविवार को सुबह 10 बजे तक राज्य में 2,296 नए मामले आए जिनमे 1076 लोग सिर्फ रांची से है। पिछले 24 घंटे में रांची में 14 लोगो की कोरोना से मृत्यु हो गई है। इनमे एक ही परिवार के तीन लोगों की मृत्यु हो हुई, जबकि चौथा सदस्य मौत से जूझ रहा है। बेलगाम होते कोरोना की स्थिति को देखते हुए एहतियातन झारखंड एकेडमिक कौन्सिल ने आगामी 31 अप्रैल तक लगातार होने वाली मैट्रिक और इन्टरमेडिएट की परीक्षा को तत्काल प्रभाव से रद्द कर दिया है। इस परीक्षा में तक़रीबन 5 लाख विधार्थी शामिल होने वाले थे।

    शैक्षणिक संस्थानों, मॉल, सिनेमाघरों और धार्मिक स्थलों को बंद करने का फैसला

    सभी शैक्षणिक संस्थानों, मॉल, सिनेमाघरों और धार्मिक स्थलों को बंद करने का फरमान जारी कर दिया गया है। कहर बन कर टूट पड़े कोरोना के हालात पर काबू पाने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को लिखे पत्र में हेमन्त सोरेन ने झारखंड में तैनात सेंट्रल पैरा मिलिट्री फ़ोर्स और सेना के डॉक्टरों की सहायता मांगी है। सोरेन ने सेंट्रल पैरा मिलिट्री फ़ोर्स के मेडिकल स्टाफ की  मदद के अलावा रामगढ़ स्थित मिलिट्री हॉस्पिटल का उपयोग कोरोना के मरीजों के लिए उपलब्ध कराने का आग्रह किया है। 

    कम पड़ रहे हैं सरकारी संसाधन 

    पत्र में कहा गया है कि झारखंड के निजी और सरकारी अस्पतालों में उपलब्ध डॉक्टरों और सिमित संसाधनों के बल पर कोरोना की लड़ाई लड़ी जा रही है। कोरोना की पहली लहर में 90 फीसदी मरीजों में कोरोना के लक्षण नहीं के बराबर थे पर इस बार इसका ग्राफ काफी बढ़ रहा है और यह नियंत्रण से परे हो रहा है। पत्र में यह भी कहा गया है कि झारखंड राज्य, ओड़िसा, पश्चिम बंगाल, बिहार, छतीसगढ़ और यूपी जैसे पांच राज्यों की सीमाओं से जुड़ा है। प्रति दिन हजारों की संख्या में लोगों का इस राज्य में आवागन हो रहा है जिससे कोरोना का संक्रमण तेजी से फ़ैल रहा है। कोरोना पहले से ज्यादा तेज गति से फ़ैल रहा है सरकारी संसाधन कम पड़ रहे हैं अतः झारखंड में सेना की मदद की जरुरत है। 

    कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए

    कोरोना की स्थिति पर समीक्षा के लिए बुलाई गई आपात सर्वदलीय बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। जिसमे हेमन्त सोरेन ने कहा कि कोरोना संक्रमण के चेन को ब्रेक करने के लिए जो निर्णय लिए गए है, उनमे सभी शैक्षणिक संस्थानों, आंगनबाड़ी केन्द्रों, सिनेमा घरों और धार्मिक स्थलों को बंद करना शामिल है। बैठक में खास तौर पर कोरोना से निपटने के लिए बनाई गई वेक्सिन रेम्डेसिविर इंजेक्शन की कमी ऑक्सीजन की कमी, ऑक्सीजन समर्थित बिस्तर की संख्या कम होने, 45 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों का टीकाकरण, पैरा मेडिकल कर्मियों की संख्या बढ़ाने और झारखंड एकेडमिक काउंसिल की परीक्षाएं रद्द करने जैसी कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की गई। बैठक में शादी विवाह में शामिल होने वाले 200 लोगों की संख्या को घटा कर 50 करने का भी निर्णय लिया गया। सोरेन ने कोरोना जांच की रिपोर्ट मिलने में देरी, ऑक्सीजन और ऑक्सीजन समर्थित बिस्तरों की संख्या ज्यादा से ज्यादा उपलब्ध कराने की बातों पर बल दिया। उन्होंने कहा कि जो लोग सामान्य रूप से संक्रमित है वैसे लोग घर पर ही रहकर अपना इलाज जारी रखें और जो लोग ठीक हो गए हैं वैसे लोग अस्पताल के बेड को जल्दी खाली कर दें ।

    बढ़ाया जाएगा आरटीपीसीआर टेस्ट केंद्र

    मुख्यमंत्री ने कहा की आगामी बीस से पच्चीस दिनों में राज्य में व्यवस्थाओं को ग्रामीण स्तर तक पंहुचा कर स्थिति को सामान्य बनाने का प्रयास किया जाएगा। उन्होंने हर जिले में 50 और प्रमंडल स्तर पर 100 ऑक्सीजन समर्थित बेड उपलब्ध कराने की बात कही। आंगनबाड़ी केन्द्रों को कोरोना सेन्टर के रूप में उपयोग कर इन केन्द्रों पर कोरोना से सम्बन्धित मेडिकल किट, थर्मामीटर, आक्सिमीटर और दवाइयां उपलब्ध कराने की बात कही। सोरने ने कहा की जांच प्रक्रिया में जो भी बिलंब हो रहा है उसे जल्द ही ठीक कर लिया जाएगा,सात जिलों में आरटीपीसीआर टेस्ट केंद्र है, उसे बढ़ाकर 9 कर दिया जाएगा। कोवास मशीन की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा की दो मशीन लाने का आदेश दे दिया गया है जो अगले 20 दिनों के भीतर मिल जाएगा 

    जांच की संख्या बढ़ाई जाए : कमलेश सिंह 

    बैठक में झामुमो नेता सुप्रियो भट्टाचार्य ने सम्पूर्ण राज्य में लॉकडाउन लगाने की मांग की। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सह सांसद दीपक प्रकाश ने कहा कि सभी जिलों में हेल्पलाइन शुरू किया जाए। उन्होंने कहा की राज्य में ऑक्सीजन की कमी नहीं, बल्कि सिलेंडरों की कमी है। इसके लिए उन्होंने टाटा और जिंदल जैसी कंपनियों से बात कर सिलेंडरों की कमी दूर करने की बात की। एनसीपी के नेता कमलेश सिंह ने सुझाव दिया कि जांच की संख्या बढ़ाई जाए, जांच रिपोर्ट भी जल्दी मिले और 45 साल से कम उम्र के लोगों को भी टीका लगाने का प्रबंध किया जाए। प्रदेश राजद के अध्यक्ष अभय सिंह ने सीएम के हर दिशा निर्देश का समर्थन किया। झारखंड प्रदेश कांग्रेस कमिटी के अध्यक्ष और राज्य के वित्त एवं खाद्ध आपूर्ति मंत्री रामेश्वर उरांव ने आर्थिक लॉकडाउन के बदले सोशल लॉकडाउन के माध्यम से भीड़ को नियंत्रित करने पर बल दिया। उन्होंने तीन तीन की संख्या में जरुरत की सभी दुकानों को खुला रखने का सुझाव दिया।