पवन कुमार आज मना रहे अपना 27वां जन्मदिन, कॉमनवेल्थ गेम्स में जीत चुके हैं कांस्य पदक

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    नई दिल्ली. पवन कुमार आज कुश्ती की दुनिया में जाना माना नाम है। उन्होंने कुश्ती में अपने बेहतरीन प्रदर्शन से सबके दिलों पर राज किया है। ‘पवन कुमार’ यह नाम पहले कुश्ती की दुनिया में एक आम नाम था। लेकिन जब से दंगल गर्ल गीता फोगट से उनकी शादी हुई है उनकी जिंदगी पूरी तरह से बदल गई। वह अब भारत में एक सम्मानित पहलवान है। देश के लिए कई मेडल जीतने वाले पहलवान आज अपना 27वां जन्मदिन मना रहे हैं।

    पवन कुमार का जन्म 16 अक्टूबर 1993 को दिल्ली स्थित नांगल ठाकरान में हुआ था। पवन कुमार को पवन सरोहा के रूप में भी जाना जाता है। वे एक भारतीय फ्रीस्टाइल पहलवान है। उन्हें बचपन से ही कुश्ती में रूचि थी। उन्होंने 86 किलो भार वर्ग में 2014 राष्ट्रमंडल खेलों में भारत का प्रतिनिधित्व किया जिसमें उन्होंने ब्रॉन्ज मेडल जीता। उन्होंने 86 किलो भार वर्ग में 2014 एशियाई खेलों में भारत का भी प्रतिनिधित्व किया। पवन कुमार ने 20 नवंबर 2016 को गीता फोगट से शादी की, जो खुद एक बढ़िया पहलवान है और सब उनके नाम से वाकिफ है।

    पवन ने 2014 कॉमनवेल्थ गेम्स में ग्लासगो में स्कॉटलैंड के अपने अभियान की शुरुआत की। जहां उन्होंने न्यूजीलैंड के स्टीव हिल के खिलाफ 16वें राउंड में 4-0 से मैच जीत लिया। जबकि कुमार ने क्वार्टर फाइनल में स्कॉटलैंड के लुइगी बियानको को 5-0 से हराया। वहीं सेमीफाइनल में कुमार को कनाडा के तामेरलान टैग्ज़िएव से 5-0 से हार का सामना करना पड़ा था। लेकिन फिर पवन को कांस्य पदक मैच में पदक जीतने का मौका था। जहां उन्होंने पाकिस्तान के मुहम्मद इनाम से मैच खेला और 6-6 से कड़े मुकाबले को समाप्त किया। लेकिन उन्हें विशेष श्रेणी में कांस्य पदक से सम्मानित किया गया क्योंकि वह एक अंक हासिल करने वाले अंतिम व्यक्ति थे।

    दक्षिण कोरिया के इंचियोन में हुए एशियाई खेल 2014 पवन कुमार के लिए ज्यादा फायदेमंद नहीं था। 16वें राउंड में कुमार ने नेपाल के सुमिर कुमार शाह का सामना किया और उसे 4-0 से हरा दिया। इसके बाद क्वार्टर फाइनल में उनका मुकाबला ईरान के मोस्ट जोकर मीसम से हुआ, जहां उन्हें 0-4 करारी शिकस्त मिली। फाइनल के लिए बाद में क्वालीफाई करने के साथ, कुमार को रेपचेज राउंड में प्रतिस्पर्धा करने का मौका दिया गया, जहां वह चीन के जहांग फेंग से 1-3 से हारकर टूर्नामेंट से बाहर हो गए।

    पवन कुमार ने साल 2013 में जोहान्सबर्ग, दक्षिण अफ्रीका में आयोजित राष्ट्रमंडल चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक जीतकर अपने करियर में अपना महत्वपूर्ण मोड़ बनाया। उन्होंने साल 2013 में सीनियर नेशनल चैंपियनशिप में भी गोल्ड मेडल जीता था।

    पवन कुमार हरिराम ग्रांड प्रिक्स टूर्नामेंट में कांस्य पदक जीत चुके हैं। उन्होंने राजीव गांधी को सर्वश्रेष्ठ पहलवान का पुरस्कार जीता। 

    वहीं उन्होंने 2011 में कॉमनवेल्थ चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीता है। उन्होंने जम्मू, भारत में जूनियर राष्ट्रीय चैम्पियनशिप 2009 में स्वर्ण पदक और रांची में सीनियर राष्ट्रीय चैम्पियनशिप 2010 में स्वर्ण पदक जीता है।