अहमदाबाद: भाजपा ने गुजरात के नए मुख्यमंत्री के तौर पर भूपेंद्र पटेल के नाम का ऐलान कर दिया है। रविवार को भाजपा विधायक दल की हुई बैठक में उनके नाम पर मुहर लगाई गई। पटेल को मुख्यमंत्री बनाए जाने पर गृहमंत्री अमित शाह ने उन्हें बधाई देते हुए कहा कि, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और आप के नेतृत्व में प्रदेश विकास में बना रहेगा अग्रणी।”
शाह ने ट्वीट में लिखा, “श्री भूपेंद्र पटेल जी को गुजरात भाजपा विधायक दल का नेता चुने जाने पर हार्दिक बधाई व शुभकामनाएं। मुझे विश्वास है कि नरेंद्र मोदी जी के मार्गदर्शन व आपके नेतृत्व में प्रदेश की अनवरत विकास यात्रा को नई ऊर्जा व गति मिलेगी और गुजरात सुशासन व जनकल्याण में निरंतर अग्रणी बना रहेगा।”
.@BJP4Gujarat વિધાયક દળના નેતા તરીકે ચૂંટાવા બદલ શ્રી @Bhupendrapbjp જીને હાર્દિક અભિનંદન અને શુભેચ્છાઓ.
મને વિશ્વાસ છે કે @narendramodi જીના માર્ગદર્શન અને નેતૃત્વ હેઠળ રાજ્યની નિરંતર વિકાસ યાત્રાને નવી ઉર્જા અને વેગ મળશે અને ગુજરાત સુશાસન અને જન કલ્યાણમાં અગ્રેસર રહેશે.
— Amit Shah (@AmitShah) September 12, 2021
जेपी नड्डा ने भी दी बधाई
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा ने भी भूपेंद्र पटेल को बधाई दी है. उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा, “श्री भूपेंद्र पटेल जी को गुजरात भाजपा विधायक दल का नेता चुने जाने पर हार्दिक बधाई व शुभकामनाएं। मुझे विश्वास है कि आदरणीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में आप पूरी निष्ठा व समर्पण भाव से गुजरात की विकास यात्रा और जनकल्याण के कार्यों को नई ऊर्जा व गति प्रदान करेंगे।
श्री @Bhupendrapbjp जी को @BJP4Gujarat विधायक दल का नेता चुने जाने पर हार्दिक बधाई व शुभकामनाएं। मुझे विश्वास है कि आदरणीय प्रधानमंत्री @narendramodi जी के नेतृत्व में आप पूरी निष्ठा व समर्पण भाव से गुजरात की विकास यात्रा और जनकल्याण के कार्यों को नई ऊर्जा व गति प्रदान करेंगे।
— Jagat Prakash Nadda (@JPNadda) September 12, 2021
भूपेंद्र भाई पूरी तरह सक्षम
पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने कहा, “भूपेंद्र भाई सक्षम हैं और हमें पूरा विश्वास है कि उनके नेतृत्व में भाजपा आने वाला चुनाव अवश्य अच्छी तरह जीतेगी।”
ज्ञात हो कि, शनिवार को विजय रूपाणी ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया। उन्होंने राजभवन जाकर राज्यपाल को अपना इस्तीफा सौंपा। रूपाणी के अचानक दिए इस्तीफा से सभी को चौंका दिया था। हालांकि, राज्यपाल से जब वह मिलने पहुंचे तब किसी को भी नहीं पता था कि, रूपाणी अपना इस्तीफा देने जा रहे हैं।