IAS Niyaz Khan, Kashmir Files

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    भोपाल. मध्यप्रदेश सरकार ने भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के अधिकारी नियाज़ खान को हाल में रिलीज हुई फिल्म ‘द कश्मीर फाइल्स’ पर विवादित ट्वीट करने के मामले में बृहस्पतिवार को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। राज्य सरकार ने उनकी टिप्पणियों को नफरत फैलाने वाला एवं अखिल भारतीय लोक सेवा आचरण नियमों का उल्लंघन मानते हुए यह नोटिस जारी किया है। खान ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कारण बताओ नोटिस मिलने की पुष्टि करते हुए कहा कि सरकार ने उनसे सात दिनों में जवाब मांगा है। हालांकि, उन्होंने नोटिस के बारे में विस्तृत जानकारी देने से मना कर दिया।

    मध्यप्रदेश के लोक निर्माण विभाग में उप सचिव खान (50) ने पिछले हफ्ते एक ट्वीट में ‘द कश्मीर फाइल्स’ के निर्माताओं से कहा था कि भारत में कई राज्यों में बड़ी संख्या में हुई मुसलमानों की हत्याओं को दिखाने के लिए एक फिल्म बनानी चाहिए। उन्होंने कहा कि मुसलमान कीड़े-मकोड़े नहीं, बल्कि इंसान हैं और देश के नागरिक हैं।

    खान ने यह भी कहा था कि अलग-अलग मौकों पर मुसलमानों के नरसंहार को दिखाने के लिए वह एक पुस्तक लिखने की योजना बना रहे हैं ताकि ‘द कश्मीर फाइल्स’ की तरह कोई फिल्म निर्माता इस पर भी फिल्म बना सके और अल्पसंख्यकों के दर्द और पीड़ा को भारतीयों के सामने लाया जा सके।

    इसके अलावा, खान ने ‘द कश्मीर फाइल्स’ के निर्माता से कश्मीरी पंडितों के बच्चों की शिक्षा और उनके लिए कश्मीर में घरों के निर्माण के लिए फिल्म से होने वाली पूरी कमाई दान करने की अपील भी की और कहा कि यह एक महान दान होगा।

    सूत्रों ने बताया कि नोटिस में खान को उस एक अन्य ट्वीट के बारे में भी जवाब देने को कहा गया है, जिसमें उन्होंने फिल्म निर्देशक विवेक अग्निहोत्री से कहा है कि कश्मीर घाटी में कश्मीरी पंडितों की सेवा के लिए वह (अग्निहोत्री) प्रधानमंत्री (नरेन्द्र मोदी) से हस्तक्षेप कर उनका तबादला कश्मीर करवा दें।

    ‘द कश्मीर फाइल्स’ फिल्म के निर्माता अभिषेक अग्रवाल एवं निर्देशक विवेक अग्निहोत्री हैं। यह फिल्म 1990 के दशक में कश्मीर घाटी से कश्मीरी पंडितों के पलायन एवं नरसंहार पर आधारित है। फिल्म 11 मार्च को रिलीज हुई है। मध्य प्रदेश और गुजरात समेत भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) शासित कुछ राज्यों ने फिल्म को कर मुक्त किया है। (एजेंसी)