अतिवृष्टिग्रस्त किसानों को दूसरे चरण के मदद की प्रतीक्षा-मदद के अभाव में रबी के कार्यों में बाधा

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  • किसान आर्थिक रूप से परेशान

अकोला. बारिश के मौसम में अतिवृष्टि के कारण जून से सितंबर इन चार माह की कालावधि के दौरान बारिश और बाढ़ से जिले की फसलों का काफी नुकसान हुआ है. संकट में फंसे किसानों को मदद का हाथ देने के लिए पहले चरण की मदद दी गयी थी. यह मदद देने को अब एक माह से अधिक का समय हुआ है. शेष 24 करोड़ रू. की मदद अब तक न मिलने से किसानों को इस मदद की प्रतीक्षा है. 

जिले के अतिवृष्टि ग्रस्त किसानों की मदद हेतु प्राप्त 26 करोड़ 78 लाख 73 हजार रू. की निधि लगभग एक माह पूर्व जिलाधिकारी कार्यालय द्वारा जिले के सातों तहसील कार्यालयों को वितरित की गयी है. तहसील कार्यालय की ओर से मदद की रकम किसानों के खातों में जमा की गयी है.

जिले में जून से सितंबर इन चार माह के दौरान अतिवृष्टि और बाढ़ के कारण जिले के 68,571 किसानों के 51,562 हेक्टेयर की फसलों का नुकसान हुआ है और 266 हेक्टेयर खेत जमीन खराब होने की रिपोर्ट जिला प्रशासन द्वारा सरकार की ओर प्रस्तुत की गयी है. तद्नुसार जिले के अतिवृष्टिग्रस्त किसानों को मदद का वितरण करने के लिए पहले चरण में सरकार द्वारा 26 करोड़ 78 लाख 73 हजार रू. की निधि 9 नवंबर को जिलाधिकारी कार्यालय को मिली थी.

उपलब्ध निधि किसानों के बैंक खातों में जमा करने के लिए जिलाधिकारी जीतेंद्र पापलकर के आदेशानुसार 10 नवंबर को जिले के सातों तहसील कार्यालयों में वितरित की गयी. तहसील कार्यालय द्वारा मदद की रकम शीघ्र ही किसानों के खातों में जमा की गयी. अतिवृष्टि के कारण नैसर्गिक संकट में फंसे किसानों को रबी की फसल लेने के लिए शेष मदद की आवश्यकता है. यह मदद शीघ्र मिलने पर किसानों की समस्याएं हल हो सकती हैं.

अतिवृष्टि की दूसरे चरण की मदद सरकार द्वारा मंजूर होने के बावजूद अब तक यह मदद किसानों को नहीं मिली है. जिले के अतिवृष्टिग्रस्त किसान दूसरे चरण की मदद के लिए प्रशासन की ओर पूछताछ कर रहे हैं. रकम के अभाव में किसानों के कई खेती के कार्य रूके पड़े हैं. यदि शीघ्र रकम मिलती है तो किसानों के कार्यों को गति मिल सकती है.